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छन्दसां पट्टिका

क्रम छन्दसां छन्दसां नामानि छन्दसां


संख्य अक्षर संख्या संख्या

01 01 दै वी गायत्री 1
02 02 दै वी उष्णिक् 1
03 03 दै वी अनष्ट
ु ुप् 1
04 04 दै वी बह
ृ ती 1
05 05 दै वी पङ्क्तिः 1
06 06 दै वी त्रिष्टुप ् । याजुषी गायत्री 2
07 07 दै वी जगती । यजुषी उष्णिक् 2
08 08 याजष
ु ी अनष्ट
ु ु प ् । प्राजापत्या गायत्री 2
09 09 याजुषी बह
ृ ती । आसुरी जगती 2
10 10 याजुषी पङ्क्तिः । आसुरी त्रिष्टुप ् 2
11 11 याजुषी त्रिष्टुप ् । आसुरी पङ्क्तिः 2
12 12 याजुषी जगती । आसुरी बह
ृ ती । प्राजापत्या 4
उष्णिक् । साम गायत्री
13 13 आसुरी अनुष्टुप ् । 1
14 14 आसरु ी उष्णिक् । सामोष्णिक् 2
15 15 आसुरी गायत्री 1
16 16 प्राजापत्या अनष्ट
ु ु प ् । सामानुष्टुप ् 2
17 18 साम बह
ृ ती । ऋग्गायत्री 2
18 20 प्राजापत्या बह
ृ ती । साम पङ्क्तिः 2
19 21 ऋगष्णि
ु क् 1
20 22 साम त्रिष्टुप ् 1
21 24 प्राजापत्या पङ्क्तिः । साम जगती । ऋगनुष्टुप ् । 4
आर्षी गायत्री
22 27 ऋग्बह
ृ ती 1
23 28 प्राजापत्या त्रिष्टुप ् । आर्षी उष्णिक् 2
क्रम छन्दसां छन्दसां नामानि छन्दसां
संख्य अक्षर संख्या संख्या

24 30 ऋक्पङ्क्तिः 1
25 32 प्राजापत्या अनष्ट
ु ु प ् । आर्षी अनष्ट
ु ुप् 2
26 33 ऋक्त्रिष्टुप ् 1
27 36 ऋग्जगती । ब्राह्मीं गायत्री । आर्षी बह
ृ ती 3
28 40 आर्षी पङ्क्तीः 1
29 42 ब्राह्मी उष्णिक् 1
30 44 आर्षी त्रीष्टुप ् 1
31 48 आर्षी जगती । ब्राह्मी अनुष्टुप ् 2
32 52 अति जगती 1
33 54 ब्राह्मी बह
ृ ती 1
34 56 शक्वरी 1
35 60 अति शक्वरी । ब्राह्मी पङ्क्तिः 2
36 64 अष्टिः 1
37 66 ब्राह्मी त्रिष्टुप ् 1
38 68 अत्यष्टिः 1
39 72 धति
ृ ः । ब्राह्मी जगती 2
40 76 अति धति
ृ ः 1
41 80 कृतिः 1
42 84 प्रकृतिः 1
43 88 आकृतिः 1
44 92 विकृतिः 1
45 96 संकृतिः 1
46 100 अभिकृतिः 1
47 104 उत्कृतिः 1
70

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