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Hindi A Sec - 2019-20 PDF
Hindi A Sec - 2019-20 PDF
इस ऩाठ्यक्रम के अध्ययन से -
(क) विद्माथी अगरे स्तयों ऩय अऩनी रूचच औय आिश्मकता के अनरू
ु ऩ दहॊदी की ऩढ़ाई कय सकेंगे
तथा दहॊदी भें फोरने औय मरखने भें सऺभ हो सकेंगे।
(ख) अऩनी बाषा दऺता के चरते उच्चतय भाध्ममभक स्तय ऩय विऻान, सभाज विऻान औय अन्म
ऩाठ्मक्रभों के साथ सहज सॊफद्धता (अॊतसंफध
ॊ ) स्थावऩत कय सकेंगे।
(ग) दै तनक जीिन व्मिहाय के विविध ऺेत्रों भें दहन्दी के औऩचारयक/अनौऩचारयक उऩमोग की दऺता
हामसर कय सकेंगे।
(घ) बाषा प्रमोग के ऩयॊ ऩयागत तौय-तयीकों एिॊ विधाओॊ की जानकायी एिॊ उनके सभसाभतमक सॊदबों की
सभझ विकमसत कय सकेंगे।
(ड.) दहॊदी बाषा भें दऺता का इस्तेभार िे अन्म बाषा-सॊयचनाओॊ की सभझ विकमसत कयने के मरए
कय सकेंगे।
व्याकरण ब दिं ु
कऺा 9व िं
उऩसगा, प्रत्मम
सभास
अथा की दृष्टि से िातम बेद
अरॊकाय : शब्दारॊकाय – अनप्र
ु ास, मभक एिॊ श्रेष; अथाारक
ॊ ाय-उऩभा, रूऩक, उत्प्रेऺा,
अततशमोष्तत एिॊ भानिीकयण।
कऺा 10व िं
यचना के आधाय ऩय िातम बेद
िाच्म
ऩद-ऩरयचम
यस : श्ॊग
ृ ाय, िीय, करुण, हास्म, िात्सल्म, यौद्र
श्रवण व वाचन (मौखिक ोऱना) सिं ध
िं योग्यताएाँ
श्रवण (सन
ु ना) कौिऱ
िखणात मा ऩदठत साभग्री, िाताा, बाषण, ऩरयचचाा, िातााराऩ, िाद-वििाद, कविता-ऩाठ आदद का
सन
ु कय अथा ग्रहण कयना, भल्
ू माॊकन कयना औय अमबव्मष्तत के ढॊ ग को जानना।
िततव्म के बाि, विनोद ि उसभें तनदहत सॊदेश, व्मॊग्म आदद को सभझना।
िैचारयक भतबेद होने ऩय बी ितता की फात को ध्मानऩि
ू क
ा , धैमऩ
ा ि
ू क
ा ि मशटिाचायानक
ु ू र प्रकाय
से सन
ु ना ि ितता के दृष्टिकोण को सभझना।
ऻानाजान भनोयॊ जन ि प्रेयणा ग्रहण कयने हे तु सन
ु ना।
िततव्म का आरोचनात्भक विश्रेषण कयना एिॊ सन
ु कय उसका साय ग्रहण कयना।
श्रवण (सन
ु ना) वाचन ( ोऱना) का ऩरीऺण : कुऱ 5 अिंक (2.5+2.5)
ऩयीऺक ककसी प्रासॊचगक विषम ऩय एक अनच्
ु छे द का स्ऩटि िाचन कये गा। अनच्
ु छे द तथ्मात्भक मा
सझ
ु ािात्भक हो सकता है । अनच्
ु छे द रगबग 100-150 शब्दों का होना चादहए।
मा
ऩयीऺक 1-2 मभनि का श्व्म अॊश (ऑडडमो ष्तरऩ) सन
ु िाएगा। अॊश योचक होना चादहए। कथ्म
/घिना ऩण
ू ा एिॊ स्ऩटि होनी चादहए। िाचक का उच्चायण शद्
ु ध, स्ऩटि एिॊ वियाभ चचह्नों के
उचचत प्रमोग सदहत होना चादहए।
ऩयीऺाथी ध्मान ऩि
ू क
ा ऩयीऺा/आडडमो ष्तरऩ को सन
ु ने के ऩश्चात ऩयीऺक द्िाया ऩछ
ू े गए प्रश्नों
का अऩनी सभझ से भौखखक उत्तय दें गे।
कौिऱों के मल
ू यािंकन का आधार
श्रवण (सन
ु ना) वाचन( ोऱना)
1 विद्माथी भें ऩरयचचत सॊदबों भें प्रमत
ु त शब्दों औय 1 विद्माथी केिर अरग-अरग शब्दों औय ऩदों
ऩदों को सभझने की साभान्म मोग्मता है । के प्रमोग की मोग्मता प्रदमशात कयता है ।
2 छोिे सस
ु फ
ॊ द्ध कथनों को ऩरयचचत सॊदबों भें 2 ऩरयचचत सॊदबों भें केिर छोिे सस
ु फ
ॊ द्ध
सभझने की मोग्मता है । कथनों का सीमभत शद्
ु धता से प्रमोग कयता
है ।
3 ऩरयचचत मा अऩरयचचत दोनों सॊदबों भें कचथत 3 अऩेक्षऺत दीघा बाषण भें जदिर कथनों के
सच
ू ना को स्ऩटि सभझने की मोग्मता है । प्रमोग की मोग्मता प्रदमशात कयता है ।
4 दीघा कथनों की श्ॊख
ृ रा को ऩमााप्त शद्
ु धता से 4 अऩरयचचत ष्स्थततमों भें विचायों को ताककाक
सभझता है औय तनटकषा तनकार सकता है । ढॊ ग से सॊगदठत कय धाया प्रिाह रूऩ भें
प्रस्तत
ु कय सकता है ।
5 जदिर कथनों के विचाय-त्रफदॊ ओ
ु ॊ को सभझने की 5 उद्दे श्म औय श्ोता के मरए उऩमत
ु त शैरी
मोग्मता प्रदमशात कयता है । को अऩना सकता है ।
हिप्ऩण
ऩयीऺण से ऩि
ू ा ऩयीऺाथी को तैमायी के मरए कुछ सभम ददमा जाए।
विियणात्भक बाषा भें िताभान कार का प्रमोग अऩेक्षऺत है ।
तनधाारयत विषम ऩयीऺाथी के अनब
ु ि सॊसाय के हों, जैसे - कोई चुिकुरा मा हास्म-प्रसॊग सन
ु ाना,
हार भें ऩढ़ी ऩस्
ु तक मा दे खे गए मसनेभा की कहानी सन
ु ाना।
जफ ऩयीऺाथी फोरना प्रायॊ ब कयें तो ऩयीऺक कभ से कभ हस्तऺेऩ कयें ।
ऩठन कौिऱ
ऱेिन कौिऱ
मरवऩ के भान्म रूऩ का ही व्मिहाय कयना।
वियाभ-चचह् नों का उऩमत
ु त प्रमोग कयना।
प्रबािऩण
ू ा बाषा तथा रेखन-शैरी का स्िाबाविक रूऩ से प्रमोग कयना।
उऩमत
ु त अनच्
ु छे दों भें फाॉिकय मरखना।
प्राथाना ऩत्र, तनभॊत्रण ऩत्र, फधाई ऩत्र, सॊिेदना ऩत्र, ई-भेर, आदे श ऩत्र, एस.एभ.एस आदद मरखना
औय विविध प्रऩत्रों को बयना।
विविध स्रोतों से आिश्मक साभग्री एकत्र कय अबीटि विषम ऩय तनफॊध मरखना।
दे खी हुई घिनाओॊ का िणान कयना औय उन ऩय अऩनी प्रततकक्रमा दे ना।
दहन्दी की एक विधा से दस
ू यी विधा भें रूऩाॊतयण का कौशर।
सभायोह औय गोष्टठमों की सच
ू ना औय प्रततिेदन तैमाय कयना।
साय, सॊऺेऩीकयण एिॊ बािाथा मरखना।
गद्म एिॊ ऩद्म अितयणों की व्माख्मा मरखना।
स्िानब
ु त
ू विचायों औय बािनाओॊ को स्ऩटि सहज औय प्रबािशारी ढॊ ग से अमबव्मतत कयना।
क्रभफद्धता औय प्रकयण की एकता फनाए यखना।
मरखने भें भौमरकता औय सजानात्भकता राना।
हहिंदी ऩाठ्यक्रम – अ (कोड सिं. - 002)
कऺा 9व िं हहिंदी अ – ऩरीऺा हे तु ऩाठ्यक्रम ववननदे िन 2019-20
क्षऺततज(बाग - 2) दे ि
जमशॊकय प्रसाद - आत्भकथ्म
स्त्री मशऺा के वियोधी कुतकों का खॊडन
सॊस्कृतत
कृततका (बाग -2) एही ठै माॉ झुरनी हे यानी हो याभा!
भैं तमों मरखता हूॉ?
प्रश्नऩत्र का प्रश्नानस
ु ार ववश्ऱेषण एविं प्रारूऩ
हहिंदी ऩाठ्यक्रम – अ
कऺा – 9व िं एविं 10व िं
ननधााररत समयावधध : 3 घिंिे अधधकतम अिंक : 80
क्र. प्रश्नों का दऺता ऩरीऺण/ अधधगम अनत- ऱघूत्तरात्मक नन िंधात्मक नन िंधात्मक कुऱ
ऱघूत्तरात्मक 2 अिंक -I -II
सिं. प्रारूऩ ऩररणाम योग
1 अिंक 5 अिंक 10 अिंक
क अऩदठत अिधायणात्भक फोध, अथाग्रहण, 05 05 15
अनुभान रगाना, विश्रेषण
फोध
कयना, शब्दऻान ि बावषक
कौशर
ख व्मािहारय व्माकयखणक सॊयचनाओॊ का फोध 15 15
औय प्रमोग, विश्रेषण एिॊ
क
बावषक कौशर
व्माकयण
ग ऩाठ्म प्रत्मास्भयण, अथाग्रहण 02 14 30
(बािग्रहण) रेखक के भनोबािों
ऩस्
ु तक
को सभझना, शब्दों का
प्रसॊगानुकूर अथा सभझना,
आरोचनात्भक चचॊतन,
ताककाकता, सयाहना, सादहष्त्मक
ऩयॊ ऩयाओॊ के ऩरयप्रेक्ष्म भें
भूल्माॊकन, विश्रेषण,
सज
ृ नात्भकता, कल्ऩनाशीरता,
कामा-कायण सॊफॊध स्थावऩत
कयना, साम्मता एिॊ अॊतयों की
ऩहचान, अमबव्मष्तत भें
भौमरकता एिॊ जीिन भूल्मों की
ऩहचान।
घ यचनात्भ सॊकेत त्रफद
ॊ ओ
ु ॊ का विस्ताय, 02 01 20
अऩने भत की अमबव्मष्तत,
क रेखन
सोदाहयण सभझाना, औचचत्म
(रेखन
तनधाायण, बाषा भें प्रिाहभमता,
कौशर) सिीक शैरी, उचचत प्रारूऩ का
प्रमोग, अमबव्मष्तत की
भौमरकता, सज
ृ नात्भकता एिॊ
ताककाकता
कुर 1x22 2x19 5x2 10x1 80
=22 =38 =10 =10