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अपठित गद्यांश

1. निम्िलिखित गद्यांश को ध््यिपर्


ू कव पढ़कर पछ
ू े गए प्रश्िों के उत्तर लिखिए:
दै निक जीवि में हम अिेक लोगों से ममलते हैं, जो ववमिन्ि प्रकार के काम करते हैं- सड़क पर ठे ला
लगािेवाला, दध
ू वाला, िगर निगम का सफाईकमी, बस कंडक्टर, स्कूल अध्यापक, हमारा सहपाठी और
ऐसे ही कई अन्य लोग। मिक्षा, वेति, परं परागत चलि और व्यवसाय के स्तर पर कुछ लोग निम्ि स्तर
पर कायय करते हैं तो कुछ उच्च स्तर पर। एक माली के कायय को सरकारी कायायलय के ककसी सचचव के
कायय से अनत निम्ि स्तर का मािा जाता है , ककंतु यदद यही अपिे कायय को कुिलतापूवक
य करता है और
उत्कृष्ट सेवाएँ प्रदाि करता है तो उसका कायय उस सचचव के कायय से कहीं बेहतर है , जो अपिे काम में
दिलाई बरतता है तथा अपिे उत्तरदानयत्वों का निवायह िहीं करता। क्या आप ऐसे सचचव को एक आदिय
अचधकारी कह सकते हैं? वास्तव में पद महत्त्वपूर्य िहीं है , बल्कक महत्त्वपूर्य होता है , कायय के प्रनत
समपयर्-िाव और कायय-प्रर्ाली में पारदमियता।
इस संदिय में गाँधी जी से उत्कृष्ट उदाहरर् और ककसका ददया जा सकता है , ल्जन्होंिे अपिे हर कायय
को गररमामय मािते हुए ककया। वे अपिे सहयोचगयों को श्रम की गररमा की सीख ददया करते थे।
दक्षक्षर् अफ्रीका में िारतीय लोगों के मलए संघर्य करते हुए उन्होंिे सफाई करिे जैसे कायय को िी किी
िीचा िहीं समझा और इसी कारर् स्वयं उिकी पत्िी कस्तरू बा से िी उिके मतिेद हो गए थे।
बाबा आमटे िे समाज द्वारा नतरस्कृत कुष्ठ रोचगयों की सेवा में अपिा समस्त जीवि समवपयत कर
ददया।
संदु रलाल बहुगर्
ु ा िे अपिे प्रमसद्ध 'चचपको आंदोलि' के माध्यम से पेड़ों को संरक्षर् प्रदाि ककया। फादर
डेममयि ऑफ मोलोकाई, मादटय ि लथ ू र ककंग और मदर टे रेसा जैसी महाि आत्माओं िे इसी सत्य को
ग्रहर् ककया। इिमें से ककसी िे िी कोई सत्ता प्राप्त िहीं की, बल्कक अपिे जि-ककयार्कारी कायों से
लोगों के ददलों पर िासि ककया। गाँधी जी का स्वतंत्रता के मलए संघर्य उिके जीवि का एक पहलू है ,
ककंतु उिका मािमसक क्षक्षनतज वास्तव में एक राष्र की सीमाओं में बँधा हुआ िहीं था। उन्होंिे सिी
लोगों में ईश्वर के दियि ककए। यही कारर् था कक किी ककसी पंचायत तक के सदस्य िहीं बििे वाले
गाँधी जी की जब मत्ृ यु हुई तो अमेररका का राष्रध्वज िी झुका ददया गया था।
प्रश्ि :
(क) ववमिन्ि व्यवसाय करिे वाले लोगों के समाज में निम्ि स्तर और उच्च स्तर को ककस
आधार पर तय ककया जाता है ।
(ख) एक माली अथवा सफाईकमी का कायय ककसी सचचव के कायय से बेहतर कैसे मािा जा सकता
है ?
(ग) गाँधी जी काम के प्रनत क्या दृल्ष्टकोर् रखते थे। उिका अपिी पत्िी के साथ क्यों मतिेद हो गया?
(घ) बाबा आमटे , सुंदरलाल बहुगुर्ा, मदर टे रेसा आदद का उकलेख क्यों ककया गया है ?
(ङ) गाँधी जी की मत्ृ यु पर अमेररका का राष्रध्वज क्यों झुका ददया गया?
(च) उपयक्
ुय त गदयांि के मलए उपयुक्त िीर्यक मलखखए।

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उत्तर :

(क) ववमिन्ि व्यवसाय करिे वाले लोगों के समाज में निम्िस्तर और उच्च स्तर को उिकी मिक्षा वेति
व्यवसाय आदद के आधार पर तय ककया जाता है । उच्च मिक्षक्षत तथा अचधक वेति पािे वाले
व्यल्क्त के काम को उच्च स्तर का तथा माली जैसों के काम को निम्ि स्तर का मािा जाता है ।
(ख) एक माली अथवा सफाईकमी अपिा काम पूरी निष्ठा ईमािदारी, ल्िम्मेदारी और कुिलता से करता
है तो उसका कायय उस सचचव के कायय से बेहतर है जो अपिे काम पर ध्याि िहीं दे ता है या अपिे
उत्तरदानयत्व का निवयहि िहीं करता है।
(ग) गाँधी जी सफाई करिे जैसे कायय को गररमामय मािते थे। वे अपिे सहयोचगयों को श्रम करिे की
सीख दे ते थे कफर खद
ु श्रम से कैसे पीछे रहते। उन्होंिे सफाई का काम स्वयं करिा िुरू कर ददया।
इसी बात पर उिका पत्िी के साथ झगड़ा हो गया।
(घ) बाबा आमटे िे समाज द्वारा नतरस्कृत कुष्ठ रोचगयों की सेवा की सुंदरलाल बहुगुर्ा िे चचपको
आंदोलि चलाकर पेडों को करिे से बचाया तथा मदर टे रेसा िे रोचगयों की सेवा की। उन्होंिे अपिे
कायय को अत्यंत लगि से ककया, इसमलए उिका िाम उल्कलखखत है ।
(ङ) गाँधी जी की मत्ृ यु पर अमेररका िे उिके सम्माि में अपिा राष्र ध्वज झुका ददया। गाँधी जी ककसी
एक व्यल्क्त या राष्र की िलाई के मलए काम ि करके समूची मािवता की िलाई के मलए काम
कर रहे थे।
(च) छात्र स्वयं मलखें गे।

2. निम्िलिखित गद्यांश को ध््यिपर्


ू कव पढ़कर पछ
ू े गए प्रश्िों के उत्तर लिखिए :
गंगा िारत की एक अत्यन्त पववत्र िदी है ल्जसका जल काफी ददिों तक रखिे के बावजद
ू अिद्
ु ध िहीं
होता जबकक साधारर् जल कुछ ददिों में ही सड़ जाता है । गंगा का उद्गम स्थल गंगोत्री या गोमुख है ।
गोमुख से िागीरथी िदी निकलती है और दे वप्रयाग िामक स्थाि पर अलकिंदा िदी से ममलकर आगे
गंगा के रूप में प्रवादहत होती है। िागीरथी के दे वप्रयाग तक आते-आते इसमें कुछ चट्टािें घुल जाती
हैं
ल्जससे इसके जल में ऐसी क्षमता पैदा हो जाती है जो उसके पािी को सड़िे िहीं दे ती।
हर िदी के जल में कुछ खास तरह के पदाथय घुले रहते हैं जो उसकी ववमिष्ट जैववक संरचिा के मलए
उत्तरदायी होते हैं। ये घुले हुए पदाथय पािी में कुछ खास तरह के बैक्टीररया को पिपिे दे ते हैं तो कुछ
को िहीं। कुछ खास तरह के बैक्टीररया ही पािी की सड़ि के मलए उत्तरदायी होते हैं तो कुछ पािी में
सड़ि पैदा करिे वाले कीटार्ुओं को रोकिे में सहायक होते हैं। वैज्ञानिक िोधों से पता चलता है कक
गंगा के पािी में िी ऐसे बैक्टीररया हैं जो गंगा के पािी में सड़ि पैदा करिे वाले कीटार्ुओं को पिपिे
ही िहीं दे ते इसमलए गंगा का पािी काफी लंबे समय तक खराब िहीं होता और पववत्र मािा जाता
हमारा मि िी गंगा के पािी की तरह ही होिा चादहए तिी वह निमयल मािा जाएगा। ल्जस प्रकार पािी
को सड़िे से रोकिे के मलए उसमें उपयोगी बैक्टीररया की उपल्स्थनत अनिवायय है उसी प्रकार मि में
ववचारों के प्रदर्
ू र् को रोकिे के मलए सकारात्मक ववचारों के निरं तर प्रवाह की िी आवश्यकता है । हम
अपिे मि को सकारात्मक ववचार रूपी बैक्टीररया द्वारा आप्लाववत करके ही गलत ववचारों को प्रववष्ट
होिे से रोक सकते हैं। जब िी कोई िकारात्मक ववचार उत्पन्ि हो सकारात्मक ववचार द्वारा उसे
समाप्त कर दील्जए।
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प्रश्ि
(क) गंगा के जल और साधारर् पािी में क्या अंतर है ?
(ख) गंगा के उद्गम स्थल को ककस िाम से जािा जाता है ? इस िदी को गंगा िाम कैसे
ममलता है ?
(ग) िागीरथी से दे व प्रयाग तक का सफर गंगा के मलए ककस तरह लािदायी मसद्ध होता है ?
(घ) बैक्टीररया ही पािी में सड़ि पैदा करते हैं और बैक्टीररया ही पािी की सड़ि रोकते हैं , कैसे?
स्पष्ट कील्जए।
(ङ) मि को निमयल रखिे के मलए क्या उपाय बताया गया है ?
(च) उपयक्
ुय त गद्यांि का उचचत िीर्यक दील्जए।

उत्तर :
(क) गंगा का जल पववत्र मािा जाता है । यह काफी ददिों तक रखिे के बाद िी अिुद्ध िहीं होता
है । इसके ववपरीत साधारर् जल कुछ ही ददि में खराब हो जाता है ।
(ख) गंगा के उद्गम स्थल को गंगोत्री या गोमुख के िाम से जािा जाता है । वहाँ यह िागीरथी
िाम से निकलती है । दे वप्रयाग में यह अलकिंदा से ममलती है तब इसे गंगा िाम ममलता है ।
(ग) िागीरथी से दे वप्रयाग तक गंगा ववमिन्ि पहाड़ों के बीच बहती है ल्जससे इसमें कुछ चट्टािें धल

जाती हैं। इससे गंगा का जल दीघय काल तक सड़िे से बचा रहता है । इस तरह यह सफर गंगा
के मलए लािदायी मसद्ध होता है ।
(घ) कुछ खास ककस्म के बैक्टीररया ऐसे होते हैं जो पािी में सड़ि पैदा करते हैं और कुछ बैक्टीररया
इि बैक्टीररया को रोकिे का काम करते हैं। गंगा के पािी में सड़ि रोकिे वाले बैक्टीररया इिको
पिपिे से रोककर पािी सड़िे से बचाते हैं।
(ङ) मि को निमयल रखिे के मलए ववचारों का प्रदर्
ू र् रोकिा चादहए। इसके मलए मि में सकारात्मक
ववचार प्रवादहत होिा चादहए। मि में िकारात्मक ववचार आते ही उसे सकारात्मक ववचारों द्वारा
िष्ट कर दे िा चादहए।
(च) उत्तर छात्र स्वयं मलखेंगे।

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