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हरिहर काका

मुख्य पात्र लेखक स्वभाव

हरिहर काका बहूत ही


हरिहर काका महंत हरिहर काका के भाई मिथिलेशवर मासुम थे।
मीरा के पद

कवि पद-1 पद-2

दूसरे पद मे मीरा श्री कृ ष्ण से विणती


मीरा पहले पद मे मीरा श्री कृ ष्ण को उनकी
सारी पिड़ा दुर करने के लिए कहती है।
करती है की बस एक बार वे उनकी
दरसण चाहती है।

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