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या आपने कभी योग न ा के ज रये ए ल व ड म वेश करने के अनुभव के बारे म सुना है ? yognidra and
astral projection ये मेरा खुद का अनुभव रह चूका है जसे आपके साथ आज म शेयर करने वाला ँ.
यादातर लोगो के मन म सवाल रहता है क is astral travel safe or how can i do it at home
without master guide तो आपके इ ही सवाल का जवाब है आज क ये पो ट जो Hindi म आपको योग
न ा के ज रये सू म शरीर क या ा का अनुभव करने के बारे म है. इसके लए आपको सफ यान अ यास क
ज रत है न क कसी तरह के mantra chant क . अगर आप यान करते है तो एक बार योग न ा का अ यास
भी करे और शरीर से बाहर वचरण को खुद महसूस करे.
योग न ा न सफ हमारे शरीर और मन को सबसे कम समय म शांत करती है ब क ाण उजा यादा से यादा
सरं त करने का काम भी करती है. और आगे बढ़ने पर शरीर से बाहर नकलना और astral world me
project होना जैसे अ यास भी है. सबसे खास बात तो ये है क ये अनुभव वभा वक अ यास के ज रये ा त
कये जाते है जसके लए अलग से कोई तैयारी नह है बस अ यास म लगे रहो. आगे से आगे अनुभव मलना शु
हो जाते है. इससे पहले क yognidra and astral projection के अ यास क शु आत क जाए इसके
फायदे के बारे म जान लेते है.
योग न ा के फायदे :
इससे हम सू म जगत म वेश कर सकते है। इसके अलावा न न लाभ होते है। याहार क सफलता एका ता
लाती है।
योग न ा का योग र चाप, मधुमेह, दय रोग, सरदद, तनाव, पेट म घाव, दमे क बीमारी, गदन दद, कमर दद,
घुटन ,जोड़ का दद, साइ टका, अ न ा, अवसाद
योग न ा का संक प योग पशु पर भी कया जा सकता है। खलाड़ी भी मैदान म खेल म वजय ा त करने के लए
योग न ा लेते ह।
अगर आप yognidra and astral projection के अ यास का ारंभ कर रहे ह तो यान रख खुली जगह का
चयन कया जाए। य द कसी बंद कमरे म करते ह तो उसके दरवाजे, खड़क खुले रहना चा हए।
ढ ले कपड़े पहनकर शवासन कर। जमीन पर दरी बछाकर उस पर एक कम मोटाई का गददा बछाये। फाेम का गददा या
क बल ना बछाये। य द पलंग पर करना चाहे तो कर सकते है। अब शां त से सीधे लेट जाये।
दोन पैर इतनी री पर रखे क वो आपस म एक सरे को ना छु य व आप आराम महसूस कर सके। हथेली कमर से कुछ री
पर हो। आँखे बंद रह। शरीर को हलाना नह है, यह एक मनोवै ा नक न द है, वचार से जूझना नह है।
अपने शरीर व मन-म त क को श थल कर द जए। सर से पाँव तक पूरे शरीर को श थल कर द जए। पूरी साँस लेना व
छोड़ना है।अब क पना कर क आप समु के कनारे लेटकर योग न ा कर रहे ह। आप के हाथ, पाँव,पेट, गदन, आँख सब
श थल हो गए ह।
अपने आप से कह क म योग न ा का अ यास करने जा रहा ँ। योग न ा म अ छे काय के लए या अपनी कोई बुरी आदत
को छोडने का संक प भी लया जाता है। योग न ा म कया गया संक प ब त ही श शाली होता है। अब लेटे-लेटे दस बीस
बार पूरी साँस ल व छोड़। इसम पेट व छाती चलेगी। पेट ऊपर-नीचे होगा। अब अपने इ दे व का यान कर और मन म संक प
दोहराये।
आपके शरीर क बीमारी बाहर जा रही है। कहने का मतलब ये क मन को उ सा हत करने वाली क पना बीच बीच म करते
रहे फर शां त से लेट जाये और सारी क पनाये व साेचना बंद कर दे । ये सब क पनाये पूरे समय नही करनी है शु आत म
इस कार क भावना मन म फु लता क भावना भर दे ती है। शु आत म भावना दे कर फर शांत हो जाइये ओर सारे सोच
वचार बंद कर द जये
दो चार बार के यास पर वो वही कने लगेगा। फर आप शां त से ऐसे ही लेटे र हये। आपका मन एकदम शा त हो
जायेगा।। आप आधे एक घ टे म ही पूरी ऊजा ा त कर लगे। आपको न द का एक झ का सा महसूस होगा फर वो खुद ही
समा त हो जायेगा और आप अपने आपको ऊजा से प रपूण महसूस करने लगगे।
सू म शरीर के अनुभव यही से शु होते है। थोडा यास बढने पर ही आप कसी दन सपना जैसा महसूस करगे
आपको महसूस होगा क आपने सपना दे खा क आप उड रहे है मगर वो सपना नही सच है। आप उस समय सच
म अपने शरीर से नकल कर उड रहे है मगर पूरी जाग कता ना होने से आपको वो सपना महसूस हो रहा है। जब
आपक एका ता व जाग कता बढती जायेगी तो आप पूरे होशो हवास म शवासन करते ये yognidra and
astral projection के अ यास म अपने शरीर से बाहर नकल कर इधर उधर घूम व उड सकगे।
कही आने जाने म आपको कोई समय नही लगेगा एक ही सेके ड म आप कही भी प च जायगे। सू म शरीर क
या ा के लये आपको कोई यास नही करना है केवल मुद क तरह लेटे रहना है शरीर को श थल करते जाना है।
शरीर पर से हमारी पकड ढ ली हो जायेगी और हम कसी भी समय उससे बाहर आ जायगे।
शवासन का अ यास करने पर आपको मालूम होगा क जब हम सोते है तो भी अपने शरीर को पूरी तरह श थल
नही करते उसको सहारा दये रहते हे जो क सामा य अव था म हमको समझ म नही आता। योग न ा के समय ही
समझ म आता है क हम सोते समय भी अपने शरीर को स हाले रखने क को शश व मेहनत अ जाने म करते रहते
है।
सू म शरीर का आ या मक मह व
य द कुछ जान भी जाये तो उसको गु त ही रखे सबके सामने उसका खुलासा ना करे।
Note : य द आप यान म ा त कसी भी श का गलत इ तेमाल करते है तो आपक सारी अ या मक श
मा एक बार के गलत इ तेमाल से ही समा त हाे जायेगी और आप व भ न शारी रक बीमा रय का शकार हो
जायगे फर बारा अ या म म अथवा यान म उ न त करना आपके लये अस भव होगा। कई लोग ये गलती कर
चुके है और अब भयंकर प रणाम भुगत रहे है। ये इ्र वरीय श यॉ है इनका गलत इ तेमाल हमको पतन के गत म
ही ले जायेगा।
हम सभी आ या मक नया के अनुभव करना चाहते है ले कन बना कसी गाइड के करने म हम द कत आती
है. अनुभव को कसके साथ साझा कया जाए इसे लेकर मन म उलझन रहती है. yognidra and astral
projection ऐसा अ यास है जसे आप खुद के तर पर कर सकते है. आपको सफ अ यास को आगे ले जाना
है अनुभव अपने आप बढ़ने लगगे. सफ एक म हना कर के दे खे और अपने अ दर के बदलाव को महसूस करे.
कसी तरह क सम या लए आप कमट म सवाल कर सकते है. इन पो ट को पढना ना भूले.
जसके बारे म सोचना नह चाहते वही बार बार याद य आता है ? इसके पीछे क असली वजह
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kumar
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