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MPLandRules2015 PDF
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से भी डाउन लोड किया जा सिता है .
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मध्यप्रदे श शासन
वाणिज्य, उद्योग और रोजगार ववभाग
एवं
2
अ नु क्र म णि िा
(2) पररभार्ायं 2
(i)
क्र. खण्ड शीर्षि पृष्ठ क्रमांि
(25, भूगम आवंटन िी अगधिाररता एवं भूगम आवंटन िी दरं एवं आवंटन िी 23
26, प्रकक्रया
27)
भाग– 4 27
(ii)
क्र. खण्ड शीर्षि पृष्ठ क्रमांि
पररगशष्ट(ए) अगतप्रदर्
ू ििार एवं खतरनाि श्रेिी िे उद्योग 31
पररगशष्ट(बी) औद्योगगि क्षेत्रं मं आवंटन हे तु प्रगतबंगधत 33
गगतववगधयं िी सूची
पररगशष्ट(सी) - भूगम हे तु गनधाषररत लीजड ड िा प्रारूप 34
पररगशष्ट(ड ) - भवन हे तु गनधाषररत लीजड ड िा प्रारूप 42
(iii)
मध्यप्रदे श राज्य औद्योगगि भूगम एवं भवन प्रबंधन गनयम, 2015
(i) ये गनयम ''मध्यप्रदे श राज्य औद्योगगि भूगम एवं भवन प्रबंधन गनयम, 2015''
िहलायंगे।
(iv) पणब्लि प्राईवेट पाटष नरगशप( पीपीपी) िे तहत वविगसत किये जाने वाले औद्योगगि
क्षेत्र/स्माटष गसट िी भूगम एवं प्लग एंड प्ले हे तु गनगमषत किये जाने वाले भवन िे
आवंटन िी प्रकिया इन गनयमं िे तहत नह ं होगी। ऐसी पररयोजनाओं िे गलए
गनववदा प्रकक्रया मं सणममगलत दस्तावेजं िे अनुसार ह लीज ड ड संपाकदत होगी
तथा ववत्तीय एवं वैधागनि प्रकक्रयाएं भी गनववदा प्रपत्र अनुसार ह होगी ।
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(2) पररभार्ाएं -
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इिाई/ववगनमाषि उद्यम।
12.3 आवासीय प्रयोजन से अगभप्रेत है , नगर तथा ग्राम गनवेश अगधगनयम, 1973 िे
अंतगषत पररभावर्त आवासीय प्रयोजन।
12.5 औद्योगगि उद्योग ववभाग अथवा उनिे अधीन गनगमं िे द्वारा औद्योगगि
वविगसत भूगम प्रयोजनं हे तु वविगसत िी गई अगधसूगचत भूगम।
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13. उद्योग आनुर्ंगगि से अगभप्रेत है , उद्योगं हे तु सहायि/आवश्यि गगतववगधयां,
प्रयोजन णजनिा सामागयि गनधाषरि राज्य शासन द्वारा समय-समय
पर किया जा सिेगा।
19. उच्च प्रागधिार से अगभप्रेत महाप्रबंधि णजला व्यापार एवं उद्योग िेन्र िे
संदभष मं पररक्षेत्रीय उद्योग अगधिार /उद्योग आयुक्त, पररक्षेत्रीय
उद्योग अगधिार िे संदभष मं उद्योग आयुक्त एवं उद्योग आयुक्त
िे संदभष मं प्रमुख सगचव/सगचव, मध्य प्रदे श शासन,वाणिज्य
उद्योग और रोजगार ववभाग से है , प्रबंध संचालि, मध्यप्रदे श
औद्योगगि िेन्र वविास गनगम िे संदभष मं अध्यक्ष,औद्योगगि
िेन्र वविास गनगम तथा अध्यक्ष, औद्योगगि िेन्र वविास
गनगम िे संदभष मं अध्यक्ष, ट्राईफेि से है ।
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20. गनगमषत क्षेत्र से अगभप्रेत फैक्ट्र भवन, गोदाम, िायाषलय भवन, टं ि,
साइलोस, (िंटे नर), गसक्यूररट आकफस, पावर सब-स्टे शन,
पमप हाउस एवं पानी िी टं िी, ववद्युत जनरे टर, सेट/बायलर
रूम आकद उत्पादन से सीधे संबंगधत पक्िे गनमाषि से है ।
बाउण्र वॉल, सड़ि, नाली, आकद इन गनयमं िे प्रयोजन हे तु
गनगमषत क्षेत्र िे रूप मं मान्य नह ं हंगे।
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(3) उददे श्य -
4 औद्योगगि अवविगसत भूगम िेवल औद्योगगि क्ष्ेात्रो तथा हदहद औद्योगगि इिाईयं
िो ह आवंकटत िी जा सिेगी।
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(5) औद्योगगि क्षेत्रं िा अगभन्यास -
(i) ये गनयम प्रवृत्त होने िे पश्चात वविगसत होने वाले औद्योगगि क्षेत्रं मं गनमन
मापदण्डं िा पालन िरते हुए अगभन्यास तैयार किया जाएगा -
इिाई द्वारा भूगम आवंटन हे तु आवेदन पत्र िे साथ पररयोजना अनुसार प्रस्ताववत
क्षेत्र िा ले-आउट प्लान प्रस्तुत किया जावेगा, तत्पश्चात आवंटन प्रागधिार द्वारा भूगम िी
आवश्यिता/मात्रा िी गिना गनगमषत क्षेत्र िे आधार पर भूगम िी मात्रा िा गनधाषरि
िरे गा। औद्योगगि क्षेत्रं मं गनगमषत क्षेत्र अगधितम 60 प्रगतशत तथा न्यूनतम 40 प्रगतशत
तथा फशी क्षेत्रानुपात (एफ.ए.आर.) अगधितम 1.50 प्रगतशत मान्य किया जावेगा।
(7) औद्योगगि, व्यवसागयि, वेयर हाऊगसंग एवं उद्योग अनुर्ांगगि प्रयोजन हे तु भूगम िे
आवंटन िी प्रकिया, अगधिाररता, दरं , हस्तांतरि िी प्रकिया आकद पृथि-पृथि होगी।
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भाग - 1
अ. महाप्रबंधि - दो है क्टे यर ति
(iii) औद्योगगि भवनं िे आवंटन िे अगधिार यथा णस्थगत महाप्रबंधि, णजला व्यापार
एवं उद्योग िेन्र /प्रबंध संचालि, औद्योगगि िेन्र वविास गनगम िो हंगे ।
(9) भूगम िे आवंटन हे तु प्रब्याणज, वविास शुल्ि, भू-भाटि तथा वावर्षि संधारि शुल्ि –
(i) वविगसत एवं वविगसत किये जाने वाले औद्योगगि क्षेत्रं मं भूगम आवंटन हे तु
प्रब्याणज, वविास शुल्ि, भू-भाटि तथा वावर्षि संधारि शुल्ि तय होगा।
अवविगसत भूगम िे गलए प्रब्याणज तथा भू-भाटि दे य होगा ।
(ii) प्रब्याणज िी गिना भूगम िे मूल्य मं द जाने वाली छूट िो प्रभावी िर गणित
िी जायेगी तथा वावर्षि भू-भाटि प्रब्याणज िा 2 प्रगतशत होगा ।
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(iii) वविास शुल्ि िी गिना औद्योगगि क्षेत्र िे आंतररि वविास मं हुए िुल व्यय पर
समानुपागति रूप से िी जायेगी तथा वविास शुल्ि भूगम आवंटन िे समय
एिमुश्त दे य होगा ।
(iv) औद्योगगि क्षेत्रं िे संधारि िो बनाये रखने िी दृवष्ट से णजला उद्योग िेन्र तथा
औद्योगगि िेन्र वविास गनगम अनुमागनत वावर्षि संधारि व्यय िा आिलन
िरं गे तथा इसे समानुपागति रूप से िुल आवंटन योग्य क्षेत्र पर प्रगत वगषमीटर
गणित किया जायेगा । आवंट द्वारा उसे आवंकटत क्षेत्रफल पर वावर्षि संधारि
शुल्ि दे य होगा ।
(v) ग्रामीि क्षेत्रं मं वविगसत/वविगसत किये जाने वाले औद्योगगि क्षेत्रं मं भूगम िा
मूल्य संबंगधत क्षेत्र िी अगसंगचत िृ वर् भूगम िे गलए गनधाषररत िलेक्टर गाईड
लाईन िो 0.6 से भाग दे ने पर गनिाला जायेगा । नगर य क्षेत्रं मं
वविगसत/वविगसत किये जाने वाले औद्योगगि क्षेत्रं मं भूगम िा मूल्य संबंगधत
क्षेत्र िे आवासीय भूखण्डं िे गलए िलेक्टर द्वारा गनधाषररत गाईड लाईन िे बराबर
होगा ।
(vi) अवविगसत भूगम िा मूल्य णजले िे भूगम से संलग्न क्षेत्रं मं अगसंगचत िृ वर् भूगम
िे गलए गनधाषररत िलेक्टर गाईड लाईन िे बराबर होगा ।
10.1 प्रब्याणज से आशय उस रागश से है जो आवंट द्वारा भूगम िा आवंटन प्राप्त िरने
िे एवज मं दे य है । प्रब्याणज िी गिना, भूगम िे मूल्य पर द गई छूट िे
अनुसार होगी, अथाषत भूगम िे मूल्य मं द गई छूट िो प्रभावी िरने िे उपरान्त
दे य प्रब्याणज िी रागश होगी। इस छूट िे संबंध मं गनवेश संवंधन
ष पर मंत्री पररर्द
सगमगत िे अनुमोदन उपरांत राज्य शासन द्वारा समय-समय पर सामान्य या
ववगशष्ट आदे श जार किये जावंगे
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(11) आवंटन हे तु आवेदन -
(i) अवविगसत भूगम :- अवविगसत भूगम हे तु वृहद औद्योगगि इिाई संबंगधत णजले िे
णजला व्यापार एवं उद्योग िेन्र मं/ ट्रायफेि िे वेबसाईट या गनधाषररत प्रपत्र पर
आवेदन एवं चैिगलस्ट िे अनुसार अन्य अगभलेख, आवेदन शुल्ि िी रागश रूपये
10000/- जमा िर अपलोड िरे गा। संबंगधत महाप्रबंधि, णजला व्यापार एवं उद्योग
िेन्र आवेदन िा पर क्षि एवं आवेकदत भूगम िी मात्रा हे तु आवेदन कदनांि िो
प्रचगलत प्रब्याणज िा 25 प्रगतशत अगग्रम रागश जमा िरा िर, भूगम िी मात्रा िी
गिना िर अपनी अनुशंसा िे साथ पररक्षेत्रीय उद्योग िायाषलय िो अग्रेवर्त िरे गा
तत्पश्चात पररक्षेत्रीय उद्योग िायाषलय एि सप्ताह िे अंदर प्राप्त प्रस्ताव िा पर क्षि
िर अपनी अनुशंसा िे साथ आवेदन उद्योग आयुक्त िो अग्रेवर्त िरे गा।
(ii) वविगसत/वविगसत किए जाने वाली भूगम :- पात्र आवेदि इिाईयां गनगमं/ णजला
व्यापार एवं उद्योग िेन्रं द्वारा वविगसत/वविगसत किये जाने वाले औद्योगगि क्षेत्रं
मं भूगम हे तु गनधाषररत आवेदन प्रपत्र पर आवेदन एवं चैिगलस्ट अनुसार अन्य
अगभलेख एवं आवेदन शुल्ि िी रागश जमा िर संबंगधत णजले िे णजला व्यापार
एवं उद्योग िेन्र/ औद्योगगि वविास िेन्रं िे िायाषलय िे गसंगल ववण्डो गसस्टम
मं आवेदन जमा िरना होगा। इिाई िो तत्समय प्रचगलत प्रब्याणज िा 25
प्रगतशत अगग्रम रागश जमा िरनी होगी। सूक्ष्म एवं लघु उद्योगं हे तु आवेदन शुल्ि
रागश रूपये 2000/-, मध्यम उद्योग इिाईयं हे तु आवेदन शुल्ि िी रागश रूपये
5000/- एवं वृहद इिाईयं हे तु आवेदन शुल्ि रूपये 10000/- होगा।
(iii) चैि गलस्ट िे अनुसार अगभलेख इिाई िो आवेदन पत्र िे साथ संलग्न/ अपलोड
िरना होगा -
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(iv) पूिष आवेदन एवं आवेदन-शुल्ि जमा िर दे ने मात्र से आवेदि िो आवेकदत भूगम
िी मात्रा एवं आवंटन िे संबंध मं िोई अगधिार प्राप्त नह ं हंगं। उद्योग िे गलए
आवश्यि भूगम िी मात्रा िा आंिलन गनयमं िे प्रावधान अंतगषत भू-आवंटन
प्रागधिार द्वारा किया जावेगा।
(ii) वविगसत एवं वविगसत किये जाने वाले औद्योगगि क्षेत्रं/वविास िेन्रं मं
औद्योगगि उपयोग हे तु आवंकटत किये जाने वाले भूखड
ं -
(अ) वविगसत किए जाने वाले औद्योगगि क्षेत्रं मं वविास योजना बनािर
औद्योगगि िेन्र वविास गनगम/णजला व्यापार एवं उद्योग िेन्र वविास
योजना ववज्ञावपत िर इन गनयमं िे अंतगषत पात्रता रखने वाले आवेदिं से
भूखण्ड/ भवन आवंटन हे तु अगग्रम आवेदन/एक्सप्रेशन फ इन्टरे स्ट प्राप्त
िर सिंगे। प्रबंध संचालि एवं महाप्रबंधि िे द्वारा पूवष से ह समय सारिी
तय िी जावेगी और गनधाषररत समय पर न लाईन पद्वगत से गनयत समय
िे गलए आवेदन पत्र बुलाये जाएगं। महाप्रबंधि णजला व्यापार एवं उद्योग
िेन्र,/ प्रबंध संचालि औद्योगगि िेन्र वविास गनगम मात्र औद्योगगि
प्रयोजन हे तु भूखड
ं िे प्राप्त आवेदनं िे साथ गनधाषररत अगग्रम रागश एवं
आवेदन शुल्ि प्राप्त िरं गे। (औद्योगगि िेन्र वविास गनगम िे अंतगषत आने
वाले औद्योगगि वविास िेन्रं िे गलए अगग्रम रागश अगग्रम वापसी िा
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गनधाषरि औद्योगगि िेन्र वविास गनगम िे संचालि मण्डल द्वारा किया
जायेगा।) रागश सकहत प्राप्त आवेदनं िो ''प्रथम आओ प्रथम पाओ'' प्रिाली
िे अंतगषत प्रतीक्षा सूची अंतगषत वर यता मानी जावेगी एवं औद्योगगि क्षेत्र मं
मूलभूत अधोसंरचना वविगसत होने िे पश्चात ् तत्समय गनधाषररत
औपचाररिताओं िी पूगतष जैसे प्रब्याणज एवं अन्य शुल्िं िे भुगतान िरने
पर भूगम आवंटन किया जावेगा। ऐसे प्रिरिं मं आवेदन िे साथ जमा रागश
आवंटन िे समय दे य रागश िे ववरूद्ध वबना ब्याज समायोणजत िी जायेगी।
(स) भू-खण्ड, भवन हे तु पूिष आवेदन प्रागप्त उपरांत आवेदि िो पात्रता होने पर
आवश्यिता, मांग एवं उपलब्धता िो दृवष्टगत अगनवायषतः पन्रह कदवस मं
गनधाषररत प्रारूप मं आशय पत्र जार िर कदया जायेगा । आशय पत्र िे साथ
आवेदि िी सहमगत प्राप्त िरने हे तु सहमगत पत्र िा गनधाषररत प्रारूप भी
संलग्न किया जायेगा।
(इ) प्राप्त आवेदनं मं आशय पत्र जार िरने िे कदनांि िो लागू प्रब्याणज, भू-
भाटि, वविास शुल्ि एवं संधारि शुल्ि िी दरं िे आधार पर दे य रागशयं
िी गिना िी जावेगी तथावप आवेदन पत्र िे साथ जमा प्रब्याणज िी 25
प्रगतशत अगग्रम रागश समायोजन योग्य होगी। औद्योगगि िेन्र वविास गनगम
द्वारा वविगसत किए जाने वाले क्षेत्र मं से िुछ भूगम वबना आंतररि
अधोसंरचना वविास िे आवंकटत किए जाने पर प्रबंध संचालि द्वारा बाह्य
अधोसंरचना वविास शुल्ि िो शागमल िरते हुए आवंटन किया जा सिेगा।
(फ) सक्षम प्रागधिार किसी इिाई िो ऐसे औद्योगगि क्षेत्र मं जहां अधोसंरचना
वविास िायष प्रारं भ िर कदया गया हो भूगम आवंटन िर सिेगा, बशते कि
इिाई द्वारा गनधाषररत प्रब्याजी एवं वविास शुल्ि िा भुगतान किया जाएगा।
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आवंकटत भूखड
ं िा अगधपत्य औद्योगगि क्षेत्र िे अगधसूगचत होने िे पश्चात
ह कदया जावेगा।
(i) आशय-पत्र : आशय-पत्र जार होने िे कदनांि से 30 कदन मं आवंट द्वारा आशय-
पत्र मं उल्लेणखत दे य रागश प्रबंध संचालि / महाप्रबंधि िे िायाषलय मं सहमगत
पत्र सकहत जमा िी जायेगी। इस अवगध िे उपरांत िारि उल्लेणखत िरते हुए
आवंट िो आशय-पत्र गनरस्त िरने हे तु 30 कदवसीय िारि बताओ सूचना-पत्र
जार किया जावेगा। सूचना-पत्र मं वणिषत अवगध मं ववलंवबत अवगध िे 10
प्रगतशत िी दर से साधारि ब्याज सकहत रागश जमा न िरने पर आशय पत्र
गनरस्त िर कदया जायेगा एवं उसिी ववगधवत सूचना पंजीिृ त डाि/स्पीड पोस्ट से
आवेदि िो, उसिे आवेदन पत्र मं दशाषए पते पर भेज द जायेगी। इस प्रावधान
िे तहत आशय पत्र िी वैधता जार िरने िी कदनांि से अगधितम 60 कदन
होगी। आशय-पत्र िी वैधता समाप्त होने पर इिाई िो जमा िी गई प्रीगमयम
रागश िा 90 प्रगतशत वावपस िी जावेगी।
(ii) आवंटन आदे श जार िरना : आशय-पत्र िी शतं िी पूगतष, णजसमं वांगछत रागश
यथा प्रीगमयम, संधारि शुल्ि जमा हो जाने िे उपरांत आवंटनिताष प्रागधिार
द्वारा आवंटन आदे श, ववगशष्ट भू-खण्ड/भवन िा क्रमांि, सेक्टर तथा चतुस
ष ीमा
अंकित िर 7 कदवस मं जार िर पंजीिृ त पावती सकहत डाि से अथवा व्यवक्तगत
रूप से अथवा नलाईन आवेदि िो ववतररत किया जायेगा। प्रत्येि आवंटन
आदे श िी प्रवववष्ट आवंटनिताष प्रागधिार िायाषलय मं लंबी अवगध ति नष्ट न होने
वाले िागज (जैसे-हरा लेजर पेपर) से बनायी गयी पंजी मं िी जावेगी।
(iii) पटटाववलेख िा गनष्पादन : आवंटन आदे श िी शतं िी पूगतष िरने हे तु 30
कदवस िे अंदर आवेदि िो गनधाषररत प्रारूप "पररगशष्ट - सी एवं ड " मं लीजड ड
गनष्पाकदत िर पंजीिृ त िरानी होगी । समयावगध मं लीजड ड गनष्पाकदत िरने िे
अगनच्छुि आवंट िो तीस कदवसीय िारि बताओ सूचना-पत्र जार िर, आवंटन
आदे श गनरस्त किया जा सिेगा।
(iv) आगधपत्य/हस्तांतरि : लीजड ड पंजीयन िे सात कदवस मं भूगम, भवन/शेड िे
आगधपत्य िा पटटादाता िे द्वारा पटटाग्रकहता िे पक्ष मं हस्तांतरि आवश्यि
होगा। अगधपत्य पत्र गनधाषररत प्रारूप मं दो प्रगतयं मं तैयार किया जायेगा,
णजसिी एि प्रगत आवंट िे पास एवं दस
ू र प्रगत आवंटनिताष अगधिार िे
िायाषलय मं रखी जावेगी। पटटाग्रकहता द्वारा गनधाषररत अवगध मं आगधपत्य न प्राप्त
िरने पर यह माना जावेगा कि उसिे द्वारा लीजड ड गनष्पादन कदनांि से
आगधपत्य प्राप्त िर गलया गया (ड मड पजेशन) है ।
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(v) गनधाषररत अवगध मं पटटाववलेख िा पंजीयन न िराने/आगधपत्य न लेने िी दशा
मं पटटाग्रकहता िो 30 कदवस िी समयावगध िा िारि बताओ सूचना पत्र
पंजीिृ त पावती डाि से प्रेवर्त किया जायेगा, किन्तु इिाई िे अनुरोध पर
अगधितम 90 कदवस िी समयावगध राज्य शासन बढा सिेगा । इसिे उपरांत भी
पंजीिृ त पटटाववलेख प्रस्तुत न िरने/आगधपत्य प्राप्त न िरने पर गनष्पाकदत
पटटाववलेख एवं आवंटन आदे श गनरस्त िर इिाई िो उसिे आवेदन पत्र मं
वणिषत पते पर पंजीिृ त पावती डाि से सूगचत िर कदया जायेगा तथा उसिे द्वारा
जमा प्रब्याणज िी 90 प्रगतशत रागश वबना ब्याज िे महाप्रबंधि/प्रबंध संचालि
द्वारा वावपस िर द जावेगी ।
(vi) ऐसे मामलं, जहॉं उद्योग स्थापनाथष ववगशष्ट अनुमगतयॉ, जैसे प्रदर्
ू ि गनयंत्रि
ववगध/गनयमं, ववस्फोटि पदाथष उत्पाद संबंधी गनयमं, वन ववभाग, आबिार
ववभाग, गनयंत्रि, और्गध एवं प्रसाधन आकद िे गनयमं िे अंतगषत आवश्यि हो,
मं पटटाववलेख गनष्पादन एवं आगधपत्य प्रदान िरने हे तु, ऐसी अनुमगतयं िो
बाध्यिार नह ं माना जायेगा। ऐसे प्रिरिं मं आगधपत्य प्रागप्त िे एि वर्ष िे
अंदर भी अनुमगतयां प्राप्त नह ं होने िी दशा मं, आवंट भूगम समवपषत िर गनयम
(24) िे प्रावधान अंतगषत प्रब्याणज िी रागश िा 90 प्रगतशत प्राप्त िर सिेगा।
यकद उसिे द्वारा भवन आकद िा गनमाषि किया गया है तो उसिो अपनी आणस्तयां
ले जाने/हटाने िी सुववधा होगी। आणस्तयं िो बेचने िी णस्थगत मं क्रयिताष िो
पृथि से समपूिष प्रब्याणज व दे य रागश जमा िर गनयमानुसार भू-आवंटन िरा िर
पटटा गनष्पाकदत िराना होगा।
(14) पटटे िी अवगध -
पटटे िी अवगध औद्योगगि भूगम िे गलये अगधितम 30 वर्ष तथा औद्योगगि
भवन हे तु अगधितम 10 वर्ष होगी।
(15) पररयोजना िा कक्रयान्वयन :-
(i) इिाई द्वारा उत्पादन प्रारं भ िरना :-
प्रत्येि पटटाग्रकहता िो भूगम/भवन िा आगधपत्य प्राप्त िर गनणश्चत
समयावगध मं पररयोजना कक्रयाणन्वत िरना होगी। इस हे तु सभी आवश्यि
प्रभावशील िदम उिा िर गनयमान्तगषत भवन गनमाषि िर यंत्र-संयंत्र िी स्थापना
िर गनमनानुसार समयावगध मं उद्योग मं उत्पादन प्रारं भ िरना होगा। समयावगध
िी गिना इिाई द्वारा आगधपत्य प्राप्त िरने िे कदनांि से होगी -
(अ) सूक्ष्म एवं लघु उद्योग िे मामले मं आगधपत्य कदनांि से दो वर्ष।
(ब) मध्यम उद्योग िे प्रिरिं मं आगधपत्य कदनांि से तीन वर्ं।
(स) वृहद उद्योग िे प्रिरिं मं आगधपत्य कदनांि से चार वर्ं।
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(ii) अवविगसत भूगम िे प्रिरिं मं गनधाषररत अवगध मं प्रस्ताववत पररयोजना लागत
िा िम से िम 50 प्रगतशत स्थायी पूंजी गनवेश किये जाने िी दशा मं उद्योग
आयुक्त द्वारा गनःशुल्ि एि वर्ष िी समय सीमा मं वृवद्ध किया जावेगा तत्पश्चात ्
पुनः उद्योग आयुक्त द्वारा प्रीगमयम िा 10 प्रगतशत दं ड िी रागश अगधरोवपत िर
एि वर्ष िी समय सीमा अंगतम रूप से बढा सिेगा तत्पश्चात भी इिाई िे
उत्पादन मं न आने पर इिाई िा आवंटन स्वतः गनरस्त हो जावेगा।
(iii) वविगसत भूगम एवं भवन :- वविगसत भूगम एवं भवन िे प्रिरिं मं उत्पादन
प्रारं भ िरने हे तु गनधाषररत समय सीमा िे पश्चात आवंट प्रागधिार द्वारा इिाई
िे प्रस्ताववत पररयोजना िा 50 प्रगतशत स्थाई पूंजी गनवेश किये जाने िी शतष
पर एि वर्ष िी समय सीमा गनःशुल्ि बढा सिेगा तत्पश्चात पुनः अंगतम रूप से
एि वर्ष िी समय सीमा मं वृवद्ध प्रचगलत प्रब्याणज िा 10 प्रगतशत जमा िरािर
िर सिेगा।
इिाई द्वारा उत्पादन प्रारं भ िरने िे कदनांि से पॉंच वर्ष िे अंदर गनयम 6
अनुसार आवंकटत भूगम पर गनधाषररत न्यूनतम गनमाषि िर भूगम िा उपयोग िरना
होगा अन्यथा मापदं ड िे अगतररक्त भूगम िो अनुपयोगी भूगम घोवर्त िर वापस
प्राप्त िरने िी िायषवाह आवंट /पटटादाता द्वारा िी जावेगी। अनुपयोगी भूगम िी
प्रीगमयम रागश इिाई िो वापस नह ं िी जाएगी, घोवर्त अनुपयोगी भूगम िो ररक्त
भूगम िे रूप मं घोवर्त किया जावेगा तत्पश्चात ् यह भूगम आवंटन िे गलए उपलब्ध
होगी, जो अन्य नवीन इिाई िो प्रचगलत दर पर आवंकटत िी जावेगी।
ऐसे मामलं मं जहां अगतशेर् भूगम िब्जा लेिर अन्य इिाई िो आवंकटत
िरना संभव नह ं है , वहां भूगम िे पूिष उपयोग किए जाने ति अनुपयोगी भूगम
पर प्रचगलत भू-भाटि िा 15 गुना भू-भाटि प्रगतवर्ष दे य होगा।
15
(vii) उपरोक्त िणण्डिा (i) एवं (ii) उन प्रिरिं मं लागू नह ं होगी जहां भूगम/भवन
आवंटन िे समय िोई समय-सीमा राज्य शासन द्वारा सुगनणश्चत/अनु
् बंगधत हो।
ऐसे प्रिरिं मं समय-सीमा बढ़ाने अथवा अन्य िायषवाह िे अगधिार राज्य
शासन िो हंगे।
(16) बंि/ववत्तीय संस्थाओं िे पक्ष मं पटटागधिार िा अगभहस्तांिन :-
(i) भारतीय ररजवष बंि से अनुज्ञा प्राप्त अनुसूगचत बंिं एवं िंपनी अगधगनयम, 1956
िी धारा 4 ए िे अंतगषत घोवर्त लोि ववत्त संस्थाओं अथवा राज्य ववत्त
अगधगनयम 1951 िे अंतगषत स्थावपत ववत्त गनगम एवं अन्य ववत्तीय संस्थान िे
पक्ष मं पटटाग्रह ता द्वारा उसे प्रदत्त पटटागधिारं िो अगभहस्तांिन िरने िी
अनुमगत होगी । इन अगभहस्तांिन मं भूगम या ववभाग/ववभाग द्वारा पूवष गनगमषत
भवन/शेड शागमल नह ं हंगे। प्रत्येि णस्थगत मं भूगम, भवन/शेड पर राज्य शासन
िे दागयत्व िा भार सवोपरर रहे गा ।
(ii) पटटाग्रह ता इिाई एवं ववत्तीय संस्था िे बीच गनष्पाकदत किसी अनुबंध िी शतं िे
तहत वसूली िी िोई भी िायषवाह िरने िे पूवष संबंगधत ववत्तीय संस्था िो िम से
िम तीन माह िा नोकटस प्रबंध संचालि/महाप्रबंधि णजला व्यापार एवं उद्योग
िेन्र िो दे ना होगा ।
(iii) बंि/ववत्तीय संस्था/गनगम द्वारा अगधग्रकहत इिाई किसी अन्य िो हस्तांतररत
िरने पर भूगम/औद्योगगि भवन िे हस्तांतरि िी अनुमगत जार िर, पटटाववलेख
िा गनष्पादन तभी किया जावेगा जब बंि/ववत्तीय संस्था अथवा नवीन इिाई
शासन िे वाणिज्य, उद्योग और रोज़गार ववभाग िी मूल पटटे दार से प्राप्त होने
वाली लेनदार िा भुगतान िर दे तथा नये आवंट िे पक्ष मं पटटाववलेख
गनष्पाकदत िरायं ।
(17) अगतररक्त भूगम िा गनयगमगतिरि :-
(i) किसी औद्योगगि इिाई िो स्वीिृ त पटटाधीन भूखड
ं से लगी हुई ऐसी िोई भूगम,
(यकद उपलब्ध है ), जो उसे आवंकटत भू-खंड िे क्षेत्रफल से 10 प्रगतशत से अगधि
न हो एवं णजसमं िोई पृथि पहुंच मागष अथवा सावषजगनि उपयोग िा न हो तो
समबणन्धत भूगम िो गनयमं मं वणिषत दर पर प्रब्याणज लेिर इिाई िो आवंकटत
िर पटटाववलेख गनष्पाकदत किया जा सिेगा। यकद पटटे दार इिाई द्वारा ऐसी भूगम
वबना आवंटन िे अपने िब्जे मं रखी गयी हो तो उसिा गनयगमगतिरि आवेदन
कदनांि िो प्रचगलत प्रब्याणज िी 150 प्रगतशत िे मान से रागश जमा िरािर
किया जा सिेगा तथा णजतनी अवगध मं भूगम इिाई िे अगधपत्य मं पायी जाती
है , उस अवगध िा इिाई द्वारा ववभाग िो दे य होगा ।
(ii) अगतररक्त भूगम यकद 10 प्रगतशत से अगधि है , तो उसे पृथि भूखड
ं िी भांगत
नवीन आवंट िो आवंकटत किया जायेगा। यकद ऐसी भूगम मं िोई पहुंच मागष
16
अथवा सावषजगनि सुववधा नह ं है तो उसे उसिी सीमा से लगी इिाई िो, आवेदन
िरने पर आवंटन अगधिार से उच्च प्रागधिार द्वारा गनयगमत किया जा सिेगा।
यकद किसी इिाई द्वारा ऐसी भूगम वबना गनयगमगतिरि िे आगधपत्य मं पायी
जाती है , तो उस पर 17(i) िे समान अगतररक्त रागश गनयगमगतिरििताष अगधिार
द्वारा आरोवपत िी जायेगी ।
3. पूिष स्वागमत्व वाली सहायि िंपनी िा ववलय उसिी मूल संचालि िंपनी
(होणल्डं ग िंपनी) मं होने पर तथा मूल संचालि िंपनी िा ववलय पूिष
स्वागमत्व वाली सहायि िंपनी मं होने पर यकद इिाई िा सीआईएन
(िापोरे ट आईडं कटफीिेशन नंबर) नंबर पररवगतषत हो जाता है तो ऐसे
प्रिरि हस्तांतरि िी श्रेिी मं नह ं आएगं इन प्रिरिं िे अंतरि मं मात्र
दस हजार रूपये िा हस्तांतरि शुल्ि गलया जािर अनुमगत प्रदान िी जा
सिेगी।
(i) यकद मूल पटटे दार गनगमषत फैक्ट्र भवन, स्थावपत मशीनर िा ववक्रय िरता
है , तो ऐसी ववक्रय हो रह पररसमपवत्तयं िा पूिष वववरि अंकित िरते हुए
एि ववक्रय अनुबंध क्रेता एवं ववक्रेता िे मध्य गनष्पाकदत किया जावेगा एवं
इसिे साथ हस्तांतरििताष हस्तांतरिाधीन भूगम/शेड िे हस्तांतरि िी
अनुमगत हे तु आवंटनिताष अगधिार िो आवेदन प्रस्तुत किया जाएगा। जहॉं
अगग्रम अनुमगत हे तु आवेदन प्रस्तुत नह ं किया जा सिा है , वहॉं भूगम/शेड
18
िे ववक्रय िी गतगथ से अगधितम तीन माह िे अंदर आवेदन िरना
आवश्यि है ।
19
(20) भू-खंड िा ववभाजन :-
(21) भूखड
ं ो िे गशिमी/उप-पटटा िी अनुमगत :-
इस हे तु मूल पटटे दार, पटटादाता एवं उपपटटे दार/ किराएदार िे मध्य वत्रपक्षीय अनुबंध
गनष्पाकदत होगा। उप पटटे िी सामान्य शते एवं वत्रपक्षीय अनुबंध िा प्रारूप क्रय अनुबंध
प्रारूप "पररगशष्ट-इ " पर है ।
20
(23) आवंकटत शेडं िा भाड़ाक्रय पद्धगत िे अंतगषत ववक्रय :-
22
भाग - दो
इन प्रयोजन िे भूखड
ं ो िा आवंटन पारदगशषता अपनाते हुए खुली प्रकिया िे तहत किया
जावेगा। भूगम आवंटन हे तु प्रीगमयम िी न्यूनतम रागश (बेस प्राईस) उस औद्योगगि क्षेत्र
िे औद्योगगि प्रयोजन िे गलए भूगम आवंटन हे तु गनयम 9 िे अंतगषत गनधाषररत भूगम िे
मूल्य िा 50 प्रगतशत होगा। खुली गनववदा िे पश्चात न्यूनतम रागश एवं गनववदा रागश मं
जो भी रागश अगधितम होगी िे आधार पर आवंटन किया जावेगा। खुली गनववदा िे
द्वारा भूगम आवंटन हे तु गनधाषररत प्रीगमयम िी न्यूनतम रागश (बेस प्राईस) िा 2 प्रगतशत
वावर्षि भू-भाटि (लीज रं ट) होगा।
वविगसत एवं वविगसत किए जाने वाले औद्योगगि क्षेत्रं/वविास िेन्रं मं आवासीय,
व्यवसागयि एवं वेयर हाऊगसंग प्रयोजन हे तु गचणन्हत भूखड
ं ो िा आवंटन खुली गनववदा
प्रकिया िे तहत (ई-टे ण्डररं ग) िी जावेगी। सक्षम प्रागधिार द्वारा पूवष से ह सारिी तय
िर गनधाषररत समय-सीमा तय िर ई-टे ण्डररं ग िी ववज्ञगप्त दो प्रमुख समाचार पत्रं मं
प्रिागशत िी जावेगी। ई-टे ण्डररं ग िी प्रकिया पृथि से जार िी जावेगी।
23
नीलामी प्रकिया ( ई-टे ण्डररं ग ) मं सफल क्रेता िे पक्ष मं भूखड
ं िे आश्य पत्र, आवंटन
आदे श, लीज ड ड गनष्पादन, लीज ड ड िा पंजीयन एवं अगधपत्य िी प्रकिया भाग - 1
िे गनयम 13 िे अनुसार तथा बंि/ववत्तीय संस्थाओं िे पक्ष मं पट्टागधिार िे
अगभहस्तांिन िी अनुमगत भाग-1 गनयम 16 िे अनुसार, भूखण्डं िे उक्ट पटंटं िी
अनुमगत भाग-1 गनयम 21 िे अनुसार तथा भू-खण्ड िे ववभाजन िी अनुमगत भाग-1
गनयम 20 िे अनुसार होगी।
(30) हस्तांतरि -
इस प्रयोजन हे तु आवंकटत भूगम िी लीज अवगध िी समय सीमा समाप्त होने िे पश्चात
तत्समय िलेक्टर गाईड लाईन िी रागश िा 1 प्रगतशत िी रागश जमा िरा िर लीज
अवगध िा नवीनीिरि आवंट अगधिार द्वारा किया जा सिेगा। नवीनीिरि पश्चात
प्रभावशील लीज रं ट िा दस गुना लीज रं ट आवंट िो भुगतान िरना होगा।
24
भाग - तीन
वविगसत एवं वविगसत किये जाने वाले औद्योगगि क्षेत्रं मं उद्योग अनुर्ांगगि प्रयोजन हे तु
गचणन्हत भूगम मं गनमन उद्योग अनुर्ांगगि प्रयोजन हे तु रागश रूपये एि प्रब्याजी पर
राज्य शासन िी अनुमगत से आवंकटत िी जाएगी ।
(33) गनमन उपयोग उदयोग अनुर्ांगगि श्रेिी िे उपयोग अंतगषत मान्य हंगे -
पुगलस थाना/चौिी
जल शोधन संयंत्र
संयुक्त प्रदर्
ू ि गनयंत्रि संयंत्र
फायर विगेड
सावषजगनि प्याऊ
सावषजगनि शौचालय
उक्त गचणन्हत प्रयोजनं हे तु आवेदन प्राप्त होने पर सक्षम अगधिार द्वारा आवश्यिता िा
पर क्षि िर भूगम आवंटन िी िायषवाह िी जावेगी।
25
(36) पटटे िी अवगध -
(38) हस्तांतरि -
भूगम िी लीज अवगध समाप्त होने िे उपरांत गगतववगध संचागलत होने िी दशा मं
गन:शुल्ि लीज िा नवीनीिरि किया जावेगा।
26
भाग - चार
27
(41) अपील एवं पुनववषलोिन :-
(i) इन गनयमं िे अंतगषत आवंटन अगधिार द्वारा पाररत/जार मूल आदे श से असंतुष्ट
पटटे दार/पक्षिार द्वारा ऐसा आदे श पाररत होने से 30 कदवस िी अवगध मं िंकडिा
41(ii) मं वणिषत क्षेत्रागधिार अनुसार सक्षम प्रागधिार िे समक्ष अपील गनमन
अपील शुल्ि सकहत प्रस्तुत िी जा सिेगीः-
लघु उद्योगं हे तु रू. 2,000/-
मध्यम उद्योगं हे तु रू. 5,000/-
वृहद उद्योगं हे तु रू. 10,000/-
(i) यकद पटटे दार द्वारा आवंकटत भूगम/शेड मं अपनी िोई पररसंपवत्तयां गनगमषत नह ं िी
गयी हो तो पटटाववलेख गनरस्तीिरि उपरांत (लंवबत अपील/न्यायालय से स्थगन
आदे श प्राप्त मामलं िो छोड़िर) संबंगधत भूगम/भवन िा आगधपत्य आवंटन
प्रागधिार द्वारा प्राप्त िर गलया जायेगा।
आवंटन प्रागधिार या उनिे प्रगतगनगध आगधपत्य प्राप्त िरने िे पूवष गनरस्त पटटा
िे पटटाग्रह ता िो पटटाववलेख गनरस्तीिरि आदे श िा वववरि दे ते हुए, गनणश्चत ्
गतगथ व समय अंकित िर गनरस्त पटटा अंतगषत भूगम एवं शेड िा आगधपत्य
वापस संपने हे त,ु पंजीिृ त डाि से उद्योग िे िायषस्थल, िायाषलय तथा गनवास िे
ज्ञात पते पर, पत्र जार िरते हुए गनदे गशत किया जावेगा। गनणश्चत ् गतगथ व समय
पर गनरस्त पटटा िे पटटाग्रह ता िे उपणस्थत न होने पर पुनः पंजीिृ त पत्र से
एि गनणश्चत ् गतगथ व समय गनधाषररत िरते हुए आगधपत्य वापस संपने हे तु
गनदे गशत किया जावेगा, णजसमं यह भी उल्लेख हो कि गनरस्त पटटा िे
पटटाग्रह ता िे उपणस्थत न होने पर एितरफा आगधपत्य पंचनामा िे आधार पर
प्राप्त किया जावेगा। गनरस्त पटटा िे पटटाग्रह ता िे गनयत गतगथ एवं समय पर
उपणस्थत न होने पर आगधपत्य प्राप्तिताष द्वारा ररक्त भूगम िा आगधपत्य पंचनामा
तैयार िर वापस प्राप्त किया जा सिेगा तथा पंचनामा मं अन्य पंच/गवाहं िे पूिष
नाम, पद एवं पता अंकित िर हस्ताक्षर प्राप्त किए जावंगं। आगधपत्य प्राप्त िरने
िे उपरांत इसिी सूचना प्रभाववत पक्ष िो पंजीिृ त डाि से प्रेवर्त िी जावेगी।
अपील मं पटटा गनरस्तीिरि िा गनिषय यथावत ् गनरं तर रखा जाने िी णस्थगत मं
आवंटन प्रागधिार द्वारा उपरोक्त प्रकक्रया अनुसार तत्िाल अगनवायषतः आगधपत्य
प्राप्त किया जावेगा।
(ii) परन्तु पटटाववलेख गनरस्तीिरि िे 3 माह िे अन्दर पटटाग्रकहता लीज पर
आवंकटत भूगम पर गनगमषत भवन एवं स्थावपत मशीनर आकद िो ववक्रय िर भूगम
हस्तांतरि हे तु आवेदन सक्षम प्रागधिार िे समक्ष प्रस्तुत िर सिेगा। आवंटन
प्रागधिार िो गुि-दोर् िे आधार पर 3 माह िे अंदर हस्तांतरि संबंधी गनिषय
लेना अगनवायष होगा।
(iii) इिाई पर बिाया दे य ववभागीय रागशयं िी वसूली हे तु प्रबंध संचालि,
एिेव्ह एन/महाप्रबंधि, णजला व्यापार एवं उद्योग िेन्र मध्यप्रदे श भू-राजस्व
संकहता 1959 िे तहत भू-राजस्व िी वसूली प्रकियानुसार िर सिेगा।
(iv) किसी वववाद िी णस्थगत मं न्यायालयीन क्षेत्रागधिार मध्यप्रदे श उच्च न्यायालय
िा िायषक्षेत्र होगा ।
29
(43) स्पष्टीिरि एवं व्याख्या िे अगधिार :-
(45) गनरसन :-
(i) मध्यप्रदे श उद्योग (शेड, प्लाट एवं भूगम) आवंटन गनयम, 2008 (यथा संशोगधत)।
(ii) औद्योगगि शेडं िो भाड़ा क्रय पद्धगत पर प्रदाय िरने िी योजना, से संबंगधत
मध्यप्रदे श शासन, वाणिज्य, उद्योग और रोजगार ववभाग िा आदे श क्रमांि
2517/3299/11/अ भोपाल, कद0 22.02.1972 (यथा संशोगधत) मं आवंकटत शेडं
िे गनयम िो छोड़िर।
******
30
पररगशष्ट - ए
अगत प्रदर्
ू ििार एवं खतरनाि श्रेिी िे उद्योग
3. पेट्रोगलयम उत्पाद -
िच्चे तेल िी ररफायगनंग, प्रोसेगसंग एवं क्रेकिंग, पेट्रोगलयम जैली, पेट्रोगलयम
ईथर, नेफ्था क्रेकिंग।
िाबषन ब्लेि व अन्य गनमाषि।
पेट्रोगलयम िोि।
लुवििेकटं ग एवं फ्यूल आईल्स।
ईल्यूगमनेकटं ग आईल्स आकद।
31
7. अल्िोहल कडस्टलर ज।
8. शक्िर िारखाना।
पायरोगेगलि एगसड।
10. इलेक्ट्रो थमषल इण्डस्ट्र ज जैसे- िेणल्शयम िाबाषइड, फास्फोरस, एल्युगमगनयम डस्ट,
&&&
32
पररगशष्ट - बी
2. पशुवध ¼िसाईखाना½।
4. िबाकडयं द्वारा िॉच, पोगलथीन, प्लाणस्टि, पी. व्ह . सी., नॉयलान, रबर, लोहा,
9. शहर एवं मृत पशु अपगशष्टं िा प्रसंस्िरि एवं उससे खाद बनाना आकद।
33
पररगशष्ट – सी
Lease deed for Land Alloted in
Industrial Area/Growth Centre………………………….
34
And whereas the lessee has agreed to take the lease on the said terms
and conditions.
1. It is agreed upon that the referred land is allotted to the Lessee for
the operations of business referred herein, under the provisions of the
Madhya Pradesh Rajya Audyogik Bhumi Evam Audyogik Bhawan
Prabandhan Niyam 2014 issued by the Government of Madhya Pradesh
vide Commerce, Industries &Employment Department's order No.
dated as amended from time to time (herein after called as "Rules")
2. That all the terms and conditions as referred to in the said Rules
are applicable and binding on the Lessee.
35
5. Thereafter, during the term of the lease the lessee shall pay to the
lessor the annual maintenance fee of Industrial Area of Rs…….(Rupees
………………in words) only and such other sum as may be
determined in accordance with the said rules, in the month of April
each year in the office of the District trade &industries centre / MP
Audyogik Kendra Vikas Nigam or such place or places as the General
manager /Managing Director may direct from time to time.
6. The lessee hereby agrees to pay the maintenance fee at the rates
as may be fixed/revised from time to time by the lessor.
7. The lessee shall from time to time and at all times during the
term of the lease pay except as aforesaid, all taxes, rates, assessments
and other charges, which are or may, at any time hereafter during the
said term be assessed, charged or imposed upon the said land/premises,
whether on the lessor or on the lessee.
8. All sums, such as due amount of premium, lease rent,
development fee and maintenance fee or any other charges imposed by
the lessor may be recovered as arrears of land revenue, if the same is
not paid before the due date.
9. The lessee hereby agrees that he shall implement the project
for the said business and start the production/ commence the operation
within the stipulated period, as prescribed in the said rules failing
which action for cancellation of allotment for land/shed and termination
of Lease Deed shall be undertaken.
10. The lessee further agrees that he shall utlize the land as per
norms and within the prescribed period from the date of allotment of
land, failing which action would be intitiated for cancellation of
allotment and termination of Lease Deed.
11. On the expiroy of the lease period. The lessee shall pay 2%
of the then previling premium amount in case of developed land and in
case of undeveloped land, lessee shall pay 1% of the then previling
unirrigated agriculture land Collector guide line rate for the renewal of
the lease, at the time of renewal, the lease rent will be increasel ten time
of the existing lease rent.
36
12. The lessee shall be entitled to surrender the land and obtain
refund of premium as per the provisions of the Rules. In case,
building/other assets have been constructed on the said land, the lessee
shall have the right to remove sell the assets at his/their own cost. In
the event of sale of such assets, the purchaser shall have to execute a
fresh lease deed after the payment of full premium and other
charges/dues as per the Rules.
13. The lessee shall not undertake any construction activity without
obtaining necessary approval of maps by the competent authority.
14. The Lessee shall use the said premises, land and building
structures and works erected or constructed thereon only for the
purpose of the business stated herein above.
15. The lessee shall keep the said premises, land and building
erected thereon secure and in good condition through maintenance and
upkeep at his own cost. The lessee shall also develop his own parking
arrangements on the land/building allotted and shall not do the parking
on the road.
17 The lessee shall not sublet, assign or otherwise transfer the said
premises/land or any part thereof or any building constructed thereon
for any purpose whatsoever, except as provided in the said Rules.
37
19. The lessee shall not carry on any illegal trade or business on the
said land/premises.
21. If the rent hereby reserved or any part thereof shall at any time
be in arrears and unpaid for one year, next after the date whereon the
same shall have become due, whether the same shall have been
lawfully demanded or not or the lessee becomes insolvent and /or goes
into liquidation voluntarily or otherwise or it there be any attachment
on the said premises or there is a breach or non observance by the
lessee of any of the conditions and covenants therein contained and
the lessee fails to remedy the breach within sixty days of the notice in
writing given by the lessor or becomes insolvent or enters into an
agreement with his creditors for composition of the industry, this lease
will be deemed to have been terminated and the lessor may, not
withstanding the waiver of any previous dues, take recourse to right of
re-entry without prejudice to any right or remedy of the lessor for
recovery of rent remaining due under the lease upon the said
land/premises and reposes the same, as if this demise had not been
made.
22. On the expiry of the lease period or termination of the lease due
to breach of the conditions of the lease deed, the lessor shall have the
right of re-entry over the land/premises.
38
24. Lessee may surrender the leased area in part or whole, by
giving to the lessor three calendar months'notice in writing of his
intention to do so. The lessor shall have the right of re-entry over the
surrendered land/premises. On such re-entry , the lessor may refund to
the lessee part of the premium paid by the lessee at the time the land
was allotted/leased out to the lessee in the following manner:-
(i) 90%, if surrender of allotted/leased land occurs
within two year from date of taking over its possession
in case of Micro/Small Scale Industrial Unit and three
years in case of Large and Medium Industrial unit.
(ii) 80%, if surrender of allotted/leased out land
occurs after two years but within three years, in case of
Micro/Small Scale Industrial Unit and after three years,
but within four years in case of Large and Medium
Industrial Unit.
(iii) 70%, if the surrender of the allotted/leased out
land occurs after three years but within four years in
case of Micro/Small Scale Industrial Unit and after four
years but within five years in case of Large and Medium
Industrial Unit.
(iv) 50%, if the surrender of the allotted/leased out
land occurs after four years but within six years in case
of Micro/Small Scale Industrial Unit and after five
years but within seven years incase of large and Medium
Industrial unit.
Explanation:- For the purpose of this clause, the period of possession
of land with the lessee will be reckoned from the date of the lessee
taking possession to handing over possession to the lessor, where
possession of land has not been taken, period between date of execution
of lease deed and date of surrender of land shall be considered for
calculation of refund of premium.
25. All costs and expenses incurred or which may be incurred
for preparation, execution and registration of this lease shall be borne
39
and paid by the lessee.
26. The lessee shall, after registration and execution, deposit a
copy of lease deed, duly certified by the registering authority, with the
lessor and may retain original copy with him.
32. The lessee shall comply with all Acts, Rules and Regulations
of State Government./Central Government/Local Bodies/any other
competent authority, in force from time to time for the operation of
40
business.
35. The partners in the lessee unit intending to avail the option
available in the said rules, hereby nominate the following persons,
their sole successors respectively, in the said partnership entity owing
the said business-
36. The lessee shall not restrict the entry of the lessor or a person
authorized by him, in the leased premises and shall provide all
information sought in writing by the lessor or the authorized person.
41
पररगशष्ट – ड
Lease deed for Shed Alloted in
IndustrialArea/Growth Centre………………………….
42
witnesses and it is hereby agreed and declared as follows:-
7. The lessee shall from time to time and at all times during
the term of the lease pay except as aforesaid, all taxes, rates,
assessments and other charges, which are or may, at any time
hereafter during the said term be assessed, charged or imposed
upon the said premises, whether on the lessor or on the lessee.
10. The lessee further agrees that he shall utlize the Shed as
per norms and within the prescribed period from the date of
allotment of land, failing which action would be intitiated for
cancellation of allotment and termination of Lease Deed.
11. On the expiroy of the lease period. The lessee shall pay
2% of the then previling premium amount in case of developed
land and in case of undeveloped land, lessee shall pay 1% of the
then previling unirrigated agriculture land Collector guide line
rate for the renewal of the lease, at the time of renewal, the lease
rent will be increasel ten time of the existing lease rent.
44
12. The lessee shall be entitled to surrender the Shed and obtain
refund of premium as per the provisions of the Rules. In case,
other assets have been createdon the said Shed, the lessee shall
have the right to remove sell the assets at his/their own cost. In
the event of sale of such assets, the purchaser shall have to
execute a fresh lease deed after the payment of full premium and
other charges/dues as per the Rules.
13. The Lessee shall used the said premises, land and building
structures and works erected or constructed thereon only for the
purpose of the business stated herein above.
14. The lessee shall keep the said premises, and building
erected thereon secure and in good condition through
maintenance and upkeep at his own cost. The lessee shall also
develop his own parking arrangements in the premised allotted
and shall not do the parking on the road.
45
18. The lessee shall not carry on any illegal trade or business
on the said premises.
22. If the rent hereby reserved or any part thereof shall at any
time be in arrears and unpaid for one year, next after the date
whereon the same shall have become due, whether the same
shall have been lawfully demanded or not or the lessee becomes
insolvent and /or goes into liquidation voluntarily or otherwise
or it there be any attachment on the said premises or there is a
breach or non observance by the lessee of any of the conditions
and covenants therein contained and the lessee fails to remedy
the breach within sixty days of the notice in writing given by the
lessor or becomes insolvent or enters into an agreement with his
creditors for composition of the industry, this lease will be
deemed to have been terminated and the lessor may, not
withstanding the waiver of any previous dues, take recourse to
46
right of re-entry without prejudice to any right or remedy of the
lessor for recovery of rent remaining due under the lease upon
the said premises and reposes the same, as if this demise had not
been made.
25. The lessee shall handover the said building to the lessor, at
the expiry of the said term of lease or on the earlier termination
of the lease in the same condition as was handed over when
occupied or received allowing for the normal wear and tear.
47
(ii) 80%, if surrender of allotted/leased out
shed occurs after two years but within three years, in
case of Micro/Small Scale Industrial Unit and after
three years, but within four years in case of Large and
Medium Industrial Unit.
48
institution, as referred to in the rules, will be granted as per
prescribed format, by the lessor regarding assignment of lease
hold rights. In all circumstances, the charge of the Department
of Commerce, Industry and Employment on land/shed shall be
over and above any subsequent charges to be created.
49
otherwise.
39. The lessee shall comply with all Acts, Rules and
Regulations of State Government./Central Government/Local
Bodies/any other competent authority, in force from time to
time for the operation of business.
42. The partners in the lessee unit intending to avail the option
50
available in the said rules, hereby nominate the following
persons, their sole successors respectively, in the said
partnership entity owing the said business-
43. The lessee shall not restrict the entry of the lessor or a
person authorized by him, in the leased premises and shall
provide all information sought in writing by the lessor or the
authorized person.
51
SCHEDULE
In the Witness wherof the parties hereto have singned this deed on the date and year
respectively mentioned against their signatures.
(Lessor)
Witnesses (Please give full name, Singnature of Chief GeneralManager/General
father's name, age & address) Manager, District Trade & Industry Centre
on behalf of the Governor of M.P.
…………………………
………………………… Singnature on behalf of
………………………… (Lessee) M/s…………………………………
Date …………………….…… Name ………………………………………...
Father's Name ……………………………….
Age …………. (inwords) …………………..
Address………………………………………
………………………………………
52
पररगशष्ट - ई
1. िोई भी इिाई उसे आवंकटत पटटे िी भूगम मं, भूगम/भवन उप- पटटे पर दे सिेगा।
पटटे पर िेवल भूगम या ऐसी भूगम णजस पर भवन पर मशीनर स्थावपत है , द जा
सिेगी।
2. उप पटटा प्राप्तिताष उस उत्पाद िे गलये उप पटटा चाहता है जो मूल पटटाधार प्राप्तिताष
िे उत्पादन हे तु आवश्यि हो तो उसे प्राथगमिता द जायेगी।
3. उसी इिाई िो वेण्डर इिाई माना जायेगा जो कि अपने िुल उत्पादन िा न्यूनतम 75
प्रगतशत उत्पादन / सेवाएं, मातृ इिाई/इिाई से संबंगधत गगतववगध िो प्रदान िरने हे तु
अनुबंगधत हो / प्रदान िरती हो।
4. वह वतषमान धारि उपपटटे पर भूगम दे सिेगा णजसिे द्वारा अनुमत पररयोजना (एप्रूव्ड
प्रोजेक्ट) अनुसार इिाई स्थावपत िी गई हो।
5. वह मातृ इिाई/इिाई से संबंगधत गगतववगध उप पटटे पर भूगम दे सिेगी णजसिे द्वारा
मूल पररयोजना मं वेण्डर इिाईयं िी संख्या, भूगम आवश्यिता तथा उनिे द्वारा उत्पाकदत
वस्तु/सेवाएं णजनिा 75 प्रगतशत मातृ इिाई/इिाई से संबंगधत गगतववगध द्वारा क्रय किया
जाना सुगनणश्चत हो, िा पूिष ब्यौरा भूगम प्राप्त िरते समय अपनी पररयोजना मं कदया गया
हो।
6. उप पटटे पर द जाने वाली भूगम पृथि से पहुंच मागष रखती हो, अथवा आबंट द्वारा उसे
पृथि पहुंच मागष उपलब्ध िराया जा सिता हो। प्रबंध संचालि,एिेव्ह एन/महाप्रबंधि
णजला व्यापार एवं उद्योग िेन्र भूगम पर पहुंच मागष व बुगनयाद सुववधाएं उपलब्ध िराने
हे तु उत्तरदायी नह ं हंगे।
7. ऐसी भूगम जो नगर एवं ग्राम गनवेश ववभाग िे गनयमानुसार गनगमषत क्षेत्र िे अनुपात मं
खुली रखा जाना आवश्यि हो, उपपटटे पर नह ं द जा सिेगी।
8. उप पटटे पर द जा रह भूगम पर भू आबंटन गनयमं मे स्वीिृ त गनधाषररत औद्योगगि
गगतववगधयॉं ह िी जा सिेगी। यकद मूल पटटा भूगम अगत प्रदर्
ू ििार व खतरनाि
उद्योगं हे तु गनधाषररत क्षेत्रान्तगषत नह ं है तो उपपटटे िी भूगम पर औद्योगगि भूगम एवं
औद्योगगि भवन प्रबंधन गनयम 2015 िे ''पररगशष्ट सी'' मं उल्लेणखत अगतप्रदर्
ू ििार एवं
खतरनाि श्रेिी िे उद्योग स्थावपत नह ं किए जा सिंगे।
9. उद्योग आनुर्ंगगि प्रयोजन हे तु आबंकटत भूगम उपपटटे पर नह ं द जा सिेगी।
53
उप पटटे िी अवगध
1. उप पटटे िी अवगध एि बार मं न्यूनतम 1 वर्ष एवं अगधितम 10 वर्ष अथवा मूल पटटे
िी अवगध िी समागप्त िे 1 वर्ष पूवष ति जो भी पहले हो, होगी।
2. उप पटटे िी अवगध िा नवीनीिरि तीनो पक्षं िी सहमगत से तत्समय प्रचगलत गनयमं
िे अन्तगषत किया जा सिेगा।
3. प्रत्येि नवीनीिरि न्यूनतम 1 वर्ष व अगधितम 10 वर्ष हे तु किया जा सिेगा।
4. नवीनीिरि हे तु इन गनयमं मं वणिषत शुल्ि दे य होगा।
उप पटटा प्रदाय हे तु प्रकक्रया
1. मूल पटटा धारि अपने आवेदन िे साथ उप पटटे दार िी सहमगत, उपपटटे दार िा
पररयोजना ररपोटष सकहत प्रचगलत भूगम प्रबंधन गनयम अनुसार गनधाषररत प्रपत्र मं आवेदन,
उप पटटे पर द जाने वाली भूगम, भवन एवं मशीन आकद िा वववरि, भूगम िा आिार व
क्षेत्रफल, पहुंच मागष आकद नक्शं पर दशाषते हुये संबंगधत ए.िे.व्ह .एन./णजला व्यापार एवं
उद्योग िेन्र िो आवेदन िरे गा। उप पटटा आवेदि िी पररयोजना हे तु भूगम िी पात्रता
िा गनधाषरि भू आबंटन गनयमं िे अन्तगषत किया जायेगा।
2. आवेदन प्राप्त होने पर प्रबंध संचालि एिेव्ह एन/महाप्रबंधि णजला व्यापार एवं उद्योग
िेन्र द्वारा प्रिरि िा पर क्षि किया जायेगा व स्थल गनर क्षि किया जायेगा। तदप
ु रांत
गनर क्षि प्रगतवेदन व अपनी अनुशंसा एवं अगभमत िे साथ प्रिरि औद्योगगि भूगम एवं
भवन प्रबंधन गनयम 2015/तत्समय प्रचगलत गनयम, िे अंतगषत उपपटटे िी अनुमगत
प्रदाय िरने हे तु सक्षम अनुमगत प्रदाता िो प्रस्तुत िरे गा। यह िायषवाह आवेदन प्रागप्त िे
15 कदवस मं पूिष िी जायेगी गनयमं मं सक्षम अनुमगत प्रदाता द्वारा प्रिरि प्रागप्त िे 60
कदवस मं अनुमगत जार िी जायेगी।
3. अनुमगत प्राप्त होने पर वतषमान पटटे दार, उपपटटा प्राप्तिताष एवं प्रबंध संचालि
एिेव्ह एन/महाप्रबंधि णजला व्यापार एवं उद्योग िेन्र िे मध्य वत्रपक्षीय उपपटटा
अनुबन्ध गनधाषररत प्रारूप मं गनष्पाकदत किया जायेगा (प्रारूप संलग्न)। यह िायषवाह
संबंगधत प्रबंध संचालि एिेव्ह एन/महाप्रबंधि णजला व्यापार एवं उद्योग िेन्र द्वारा िी
जायेगी। ये सक्षम अगधिार अनुबंधिताष अगधिार हंगे। उपटटा प्राप्तिताष द्वारा यह
अनुबंध पंजीिृ त िराया जािर, इसिी अगभप्रमाणित प्रगत मूल पटटे दार िी भू आबंटन
नस्ती मं रखी जायेगी। यह अनुबंध मूल पटटागभलेख िा एि भाग होगा।
4. उप पटटाधार द्वारा भूगम प्रागप्त उपरांत पररयोजना गनधाषररत समयावगध मं कक्रयान्वयन िी
पूिष णजममेदार उप पटटा प्राप्तिताष इिाई िी होगी। यकद गनधाषररत समयावगध मं उप
पटटाधार द्वारा उत्पादन प्रारं भ नह किया जाता है तो उप पटटा अनुबन्ध अनुबंधिताष
अगधिार द्वारा गनरस्त किया जा सिेगा।
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5. यकद मूल पटटे दार िे पटटागभलेख बंि/ववत्तीय संस्था िो अगभहस्तांकित किए गये हं तो
उप पटटा स्वीिृ त किये जाने िे पूवष संबंगधत बंि/ ववत्तीय संस्था िी सहमगत आवश्यि
होगी। गनष्पाकदत उपपटटा अनुबन्ध िी प्रगत बंि/ववत्तीय संस्था िो भी पृष्ठांकित िी
जावेगी। उप पटटा अनुमगत गनरस्तीिरि िी प्रगत संबंगधत बंि/ ववत्तीय संस्था िो भी
प्रेवर्त िी जाएगी।
उप पटटा हे तु दे य रागश
1. उप पटटा स्वीिृ गत, नवीनीिरि एवं पटटा गनरस्तीिरि िे अगधिार वतषमान मं प्रचगलत
औद्योगगि भूगम एवं भवन प्रबंधन गनयम 2015 अथवा तत्समय प्रचगलत भू आबंटन
गनयमं िे अनुसार अनुमगत प्रदाता अगधिार िो हंगं।
2. सक्षम अगधिार द्वारा अनुमगत जार िरने िे उपरान्त अनुवती िायषवाह एवं अनुबंध
गनष्पादन, शतो िे पालन िी गनगरानी, शतष उल्लंघन पर नोकटस आकद जार िरना,
प्रबंध संचालि एिेव्ह एन/महाप्रबंधि णजला व्यापार एवं उद्योग िेन्र िी जायेगी।
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राज्य शासन द्वारा गनयत भू आबंटन गनयमं िी प्रभावशीलता
1. मूल पटटे दार प्रबंध संचालि, एिेव्ह एन/महाप्रबंधि णजला व्यापार एवं उद्योग िेन्र िे
मध्य गनष्पाकदत पटटाववलेख िी अन्य शते यथा आवश्यि उपपटटे दार पर भी लागू हंगी।
2. उप पटटा धारि पर मघ्यप्रदे श औद्योगगि भूगम एवं भवन प्रबंधन गनयम 2015 अथवा
समय-समय पर जार संबंगधत गनयमं िे प्रावधान लागू होगं।
4. उप पटटा अवगध िे दौरान उप पटटा गनरस्त होने अथवा उप पटटे िी अवगध समाप्त होने
तथा नवीनीिरि न होने पर भूगम िा आगधपत्य मूल पटटा धारि िे पास आ जावेगा।
उप पटटा धारि द्वारा उप पटटे िी भूगम पर गनगमषत अधोसंरचनायं/स्थावपत यंत्र एवं
सयंत्र आकद िा गनरािरि उप पटटे दार द्वारा किया जािर ररक्त भू-खण्ड मूल पटटे दार िो
संपा जावेगा। उभय पक्ष चाहे तो ऐसी संरचनाओं िा मूल्य आपसी सहमगत से तय िर
मूल पटटे दार द्वारा संरचनाएं क्रय िी जा सिेगीं।
5. वैध उपपटटा धारि द्वारा अपनी इिाई िे ववगधवत संचालन िे दौरान यकद मूल पटटा
धारि िा पटटा भूगम प्रबंधन गनयमं िे अंतगषत किन्ह ं प्रावधानं िे उल्लंघन िे
फलस्वरूप गनरस्त होने िी दशा मं उपपटटे दार द्वारा चलायी जा रह गगतववगध िे सुचारू
संचालन िे दृवष्टगत उपपटटा धारि िे अनुरोध पर अनुमगत प्रदाता अगधिार द्वारा
प्रिरि िे गुि-दोर् िे आधार पर उपपटटे िी भूगम िा आवंटन प्रचगलत गनयमं िे
प्रावधानं िे अनुसार उपपटटे दार िो किया जा सिेगा। ऐसी णस्थगत मं शेर् भूगम (मूल
पटटाधारि िे आगधपत्य िी भूगम) ह गनरस्त रखी जािर आगामी िायषवाह योग्य होगी।
56
9. उपपटटा धारि द्वारा, संचागलत इिाई िी प्रगगत एवं आय-व्यय िा ब्यौरा प्रगतवर्ष 30
गसतमबर ति प्रबंध संचालि एिेव्ह एन/महाप्रबंधि णजला व्यापार एवं उद्योग िेन्र िो
प्रस्तुत किया जायेगा।
3. मूल पटटा धारि तथा उप पटटा धारि िे मध्य पटटे संबंधी वववाद होने पर अनुमगत
प्रदाता अगधिार संबंगधत पक्षं िो सुनवाई िा मौिा दे िर गनिषय दे सिंगे , जो उभय
पक्षं पर बाध्यिार होगा।
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Draft tripartite Agreement between Lessor, Lessee and Sub Lessee
Whereas the lessor had allotted and granted lease of the land admeasuring
………….. square meters situated at Plot No …………. Industrial Area (Name and
address) …………… District…………….. under a registered lease deed
no………….. dated ………….. for a period of 30 years commencing from……….
for the purpose stated therein.
Whereas the lessee has approached the lessor vide letter dated……….. seeking
permission of the lessor to grant sub lease of the leasehold land admeasuring
…………. square meters/a part of land admeasuring …………. square meters/and
constructions thereon or to give theindustrial unit on license under management
contract o on leave and license basis for a period of ………….. years as fully
described in the schedule annexed hereto.
And Whereas the Madhya Pradesh state industrial Land and Industrial Bulding
management Rules provides for sub lease tenancy of the land/bulding leased by
lessor under clause as under.
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And Whereas the lease deed exected between lessor and lessee under clause (16)
provides that lessee shall not sublet/ assign or otherwise transfer the said premise/
land or any part thereof or any building structure or work constructed thereon for
any purpose whatsoever except as provided in Rule 19 of the said Rulesh.
And Whereas as required under Rule 19 of said Rules, the lessor has obtained the
approval to the terms conditionsof the tripartite agreement for sub lease/license
from state government vide letter no………….. dated………….
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the lessee or Sub-lessee/Licensee shall have remedy of appeal as provided
under the rules.
7) The sub lessee/licensee shall not sub lessee/assign or otherwise transfer or
shall create any third party interest whatsoever in the demised land/bulding
or part thereof.
8) The Sub-lessee/Licensee shall pay to the lessor annual lease rent for Sub-
lessee/Licensee-land equivalent to 3% (Three percent), of the premium
prevailing on the date of agreement. This annual leas rent shall be paid in
advance each year on 31 st march.
9) That, in case of default of payment of lease rent or any dues either by lessee
or by Sub-lessee/Licensee the lessor shall have right to deand and recover
the same either from lessee or Sub-lessee/Licensee and vice versa or from
both lessee and sub lessee/licensee as provide in the main lease deed.
10) The lessee shall provide a copy of sub-lease deed, contract or any
agreement entered into with the Sub-lessee/Licensee in respect of the
demised land and building constructed thereon or in respect of industrial
unit and shall always keep the lessor informed about any amendment or
change in the terms and conditions in the said deed, contract or agreement.
11) The lessor shall not be responsible to provide any passage or approach road
or any other facility independently to the Sub-lessee/Licensee.
12) In case of any inconsistency in the terms and condition of Sub-
lessee/Licensee, the terms and conditions contaioned in the main lease shall
prevail.
13) The lessee and and Sub-lessee/Licensee shall bear all expenses, fees stamps
duty and registration charges if any.
14) The lessor shall have the right to decide any issue/ matter or dispute arises
between the lessee and sub-lessee keeping in view the provisions of the
prevailing Land and Shed Allotment Rules of the industries Department
after giving an opportunity to all concerned to be heard and his decision
will be final and binding on lessee and sub- lessee.
15) The lessee and sub- lessee, if aggrieved by an order of the lessor may prefer
an appeal to the designated authority as per the provisions of the
main lease/prevailing Land and shed Allotment Rules.
16) Rules, Conditions and Instructions issued by the State Government from
time to time under Rule 20 of the Madhya Pradesh Audyogik Bhumi Avam
Audyogik Bhavan Prabandhan Niyam 2008 Shall be binding on all the
60
parties signing the Tripartite Agreement and shall be treated as a part of
this Agreement.
IN WITNESS WHEREOF, the Parties herein above have set their hands
entered into this Deed the day and year first above written.
61
SCHEDULE
Plot No .............................
Surrounded by
On north
On south
On east
On west
Road on
Surrounded by
On north
On south
On east
On west
Road on
Area ...............................
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पररगशष्ट - एफ
(ii) इस योजना िे अंतगषत िेवल भवन भाड़ा क्रय पर कदये जा सिंगे , भूगम नह ।ं
भूगम, णजस पर भवन गनगमषत है , तथा पास िी खुली भूगम गनयमं मं वणिषत
अवगध िी लीज पर द जायेगी, णजसिे गलए एि लीजड ड अलग से गनष्पाकदत
िरनी होगी । खुली भूगम तथा शेड अंतगषत गनगमषत क्षेत्र िी भूगम सणममगलत िर
आवंटन योग्य िुल भूगम िी मात्रा गनयमं िे अंतगषत 'भूगम िी मात्रा िा
गनधाषरि' समबन्धी गनयम से शागसत होगी।
(अ) भवन िे गनगमषत क्षेत्र िा मूल्य रूपये 22 प्रगत वगषफुट आंिा जाएगा और
इस मूल्य मं से, णजतना पुराना गनगमषत भवन है उतनी अवगध िे गलए
3.50 प्रगतशत प्रगतवर्ष िी दर से िटौती िी जाएगी, परन्तु यह िटौती
रूपये 22 प्रगत वगषफुट से आंिी गयी िीमत िे 50 प्रगतशत से अगधि
नह ं होगी । णजन भवनं िा गनमाषि 1972 िे बाद हुआ है वे भवन णजस
वर्ष मं गनगमषत किये गये उस, वर्ष मं उनिी प्रगत वगषफुट लागत िे 50
प्रगतशत से अगधि िी िटौती नह ं होगी।
(ब) गनधाषररत मूल्य िा 10 वर्ं मं समान वावर्षि किश्तं मं भुगतान िरना
होगा, णजस पर 7.5 प्रगतशत प्रगतवर्ष िा सामान्य ब्याज दे य होगा। पूवष
जमा गसक्यूररट रागश अंगतम किश्त िे साथ समयोणजत िी जायेगी।
(स) भवन और उसिे साथ लगी हुई खुली भूगम, दोनं पर वतषमान प्रचगलत
औद्योगगि दर से प्रीगमयम ली जािर लीज गनष्पाकदत िी जाएगी। क्रयिताष
िो प्रचगलत दरं िे अनुसार संधारि शुल्ि प्रगतवर्ष दे ना होगा ।
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(द) भवन खर दने वाले व्यवक्त/संस्था /िंपनी िे ऊपर यकद भवन िा पुराना
किराया शेर् हो तो लीजड ड गनष्पाकदत िरने िे पूवष उसिी पूर वसूली
होना अगनवायष हं ।
(iv) यकद िोई व्यवक्त गनधाषररत कदनांि पर किश्त जमा नह ं िरता है , णजसमं छूट िी
अवगध अथाषत एि माह सणममगलत है , तो ब्याज सकहत दे य रागश पर 10 प्रगतशत
अगतररक्त शाणस्त ब्याज उस कदन से वसूल किया जाएगा, णजस कदन किश्त जमा
िरना थी ।
(v) यकद िोई व्यवक्त 2 से ज्यादा किश्त नह ं दे ता है तो भवन राज्य शासन िे पक्ष मं
वावपस माना जाएगा एवं पूवष मं जमा िी गयी किश्त रागश राज्य शासन िे कहत
मं राजसात हो जाएगी। यकद ऐसी णस्थगत मं आवंट पुनः किराये पर पूवव
ष त भवन
आवंटन हे तु आवेदन िरता है तो उसे वतषमान प्रचगलत किराये िी दर से कडफाल्ट
अवगध िी मागसि किश्तं चुिाने पर वतषमान प्रचगलत दर पर ह भवन किराये पर
कदया जा सिेगा ।
(vi) भाड़ा क्रय योजना िे अंतगषत प्राप्त भवन महाप्रबंधि/ प्रबंध संचालि िी पूवष
स्वीिृ गत िे वबना किसी िो ववक्रय/सबलीज या अन्य प्रिार से हस्तांतररत नह ं
किया जा सिेगा ।
(vii) भाड़ा क्रय योजना िे अंतगषत प्राप्त भवन िा उपयोग औद्योगगि क्षेत्र मं अनुमत
प्रयोजन से गभन्न किसी अन्य प्रयोजन िे गलए नह ं किया जाएगा।
(viii) भाड़ा क्रय अनुबंध िी अवगध मं भवन राज्य शासन िी संपवत्त रहे गी।
(ix) स्टामप डयूट , जो पंजीयन पर लगेगी, भवन खर दने वाले िो वहन िरना होगी।
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(x) भाड़ा क्रय योजना िी अवगध मं भवन िो अच्छी णस्थगत मं रखने तथा उसिी
मरममत एवं संरक्षि िी णजममेदार भवन क्रय िरने वाले िी होगी।
(xi) भाड़ा क्रय योजना िे अन्तगषत प्राप्त शेडं िे पुनगनषमाषि िी अनुमगत उद्योग आयुक्त
द्वारा प्रदान िी जा सिेगी। बशते िी शेड िा उपयोग औद्योगगि प्रयोजन िे गलए
हो।
(xii) भवन क्रय िरने वाले िो भवन िा बीमा, उद्योग आयुक्त/प्रबंध संचालि, म.प्र.
स्टे ट इण्डणस्ट्रयल डे वलपमेन्ट िापोरे शन गलगमटे ड िे पक्ष मं अपने खचष से भाड़ा
क्रय िी अंगतम किश्त िे भुगतान िी अवगध ति िरना होगा।
(xiii) भाड़ा क्रय योजना अंतगषत अनुमगत िे अगधिार पदे न महाप्रबंधि औद्योगगि िेन्र
वविास गनगम/प्रबंध संचालि, औद्योगगि िेन्र वविास गनगम िो हंगे।
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