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Hindi - ADD-QP1
Hindi - ADD-QP1
िणाम त् मक प्रश्न
ि.सं. प्रश्न अ ंक
11.1 (1) तनयतमि रूप से कबीि मठ जाना 2.0
(2) कबीि के पदों को मेशा गािे ि ना
(3) कथनी औि किनी में अिं ि न ीं किना
(4) सादा औि सिल जीिन जीना
(5) पत्रु की मौि पि भी तिचतलि न ीं ोना
(6) कममकाडं को न मानना
(7) पिो ू को दसू िी शादी कि घि बसाने के तलए क ना
(8) मेशा सच बोलना औि दसू िों से बतढ़या व्यि ाि किना
तकन् ीं दो तबदं ओ
ु ं के तलखने पि 2 अकं दें।
11.2 (क) व्यतक्त का नाम, जैसे- मेिी नानी 2.0
(ख) कािण-
1. िे कभी तकसी पि गुस्सा न ीं कििी ैं।
2. कतठन परितस्थतियों में भी डटी ि िी ैं।
3. िे ब ुि सेिाभाि से काम कििी ैं।
नाम तलखने पि 1 अकं औि दो कािण तलखने पि प्रत्येक कािण के तलए 0.5 अकं दें।
11.3 (1) मानि जीिन का तचंिन औि कलात्मक सृजन ी संस्कृ ति ै। 2.0
(2) ि सामर्थयम, प्रिृतत्त औि प्रेिणा जो म अपने पिु खों से अकस्माि प्राप्त कििे ैं, उसे सास्ं कृ तिक तििासि क िे ैं।
11.4 (1) पाँच िक्त नमाज़ पढ़ना औि सच्चा सुि पाने की प्राथमना किना 2.0
(2) त िन की िि अपनी खूबी से अनजान ोना/तिनम्र ोना/ खुद को म ान न समझना
(2) संगिकाि - संगिकाि की मधुि तकंिु काँपिी ुई आिाज़ का ोना/आिाज़ में आत्मतिश्वास की कमी ोना/आिाज़
1.0
में मधुििा ोना
प्रत्येक तबदं ु के तलए स ी िाक्य तलखने पि 1 अकं दें। अन्य स ी उत्ति पि भी तिचाि किें ।
13.3 (क) कृ ति का अथम- िटस्थ ोकि तलखने का भीििी आनंद/लेखन के बाद प्राप्त ोने िाला आत्म संिोष 1.0
ि मापदडं के तलए पिू े अकं दें यतद दी गई अपेक्षाएँ पिू ी ोिी ैं।
ि मापदडं के तलए आधे अकं दें यतद दी गई अपेक्षाओ ं में सुधाि की आिश्यकिा ै।
ि मापदडं के तलए शून्य अकं दें यतद दी गई अपेक्षाएँ तबलकुल पिू ी न ीं ोिी ैं।
प्रस्िुति 2.0
(1) िमबद्धिा (तिचािों को िमबद्ध एि ं िकम संगि तितध से प्रकट किना) [1]
(2) भूतमका िथा तनष्कषम का ोना [1]
ि मापदडं के तलए पिू े अकं दें यतद दी गई अपेक्षाएँ पिू ी ोिी ैं।
ि मापदडं के तलए आधे अकं दें यतद दी गई अपेक्षाओ ं में सुधाि की आिश्यकिा ै।
ि मापदडं के तलए शून्य अकं दें यतद दी गई अपेक्षाएँ तबलकुल पिू ी न ीं ोिी ैं।
पिू े अकं दें यतद व्याकिण औि ििमनी को तमलाकि के िल 1-2 त्रुतटयाँ ैं।
आधे अकं दें यतद व्याकिण औि ििमनी को तमलाकि 3-5 त्रुतटयाँ ैं।
शून्य अकं दें यतद व्याकिण औि ििमनी को तमलाकि 5 से अतधक त्रुतटयाँ ैं।
15.1 प्रारूप 2.0
औपचारिक पत्र के सभी अगं सुतनतिि किना
• तदनाकं एि ं तिषय-सक ं े ि [0.25]
• प्रेषक का पिा [0.25]
• प्राप्तकिाम का पिा [0.25]
• संबोधन [0.25]
• भतू मका िथा तनष्कषम का ोना [0.1]
ि मापदडं के तलए पिू े अकं दें यतद दी गई अपेक्षाएँ पिू ी ोिी ैं।
ि मापदडं के तलए आधे अकं दें यतद दी गई अपेक्षाओ ं में सुधाि की आिश्यकिा ै।
ि मापदडं के तलए शून्य अकं दें यतद दी गई अपेक्षाएँ तबलकुल पिू ी न ीं ोिी ैं ।
तिषयिस्िु 2.0
• तिषय कें द्रीयिा (अनािश्यक बािें न किके के िल तिषय-सबं द्ध िणमन-तििेचन) [0.5]
• सभी अगं ों का स ी िम सुतनतिि किना [0.25]
• भूतमका िथा समापन का ोना [0.25]
• िमबद्धिा (तिचािों को िमबद्ध एि ं िकम संगि तितध से प्रकट किना) [0.5]
• तिचािों को औपचारिक शब्दों में प्रस्ििु किना [0.25]
• शब्द-सीमा का पालन [0.25]
ि मापदडं के तलए पिू े अकं दें यतद दी गई अपेक्षाएँ पिू ी ोिी ैं।
ि मापदडं के तलए आधे अकं दें यतद दी गई अपेक्षाओ ं में सुधाि की आिश्यकिा ै।
ि मापदडं के तलए शून्य अकं दें यतद दी गई अपेक्षाएँ तबलकुल पिू ी न ीं ोिी ैं ।
• व्याकिण (व्याकिण सम्मि भाषा िथा तििाम तचह्नों का उतचि प्रयोग) [0.5]
• ििमनी (शब्दों की शुद्ध ििमनी का प्रयोग) [0.5]
पिू े अकं दें यतद व्याकिण औि ििमनी को तमलाकि के िल 1-2 त्रुतटयाँ ैं।
आधे अकं दें यतद व्याकिण औि ििमनी को तमलाकि 3-5 त्रुतटयाँ ैं।
शून्य अकं दें यतद व्याकिण औि ििमनी को तमलाकि 5 से अतधक त्रुतटयाँ ैं।
ि मापदडं के तलए पिू े अकं दें यतद दी गई अपेक्षाएँ पिू ी ोिी ैं।
ि मापदडं के तलए आधे अकं दें यतद दी गई अपेक्षाओ ं में सुधाि की आिश्यकिा ै।
ि मापदडं के तलए शून्य अकं दें यतद दी गई अपेक्षाएँ तबलकुल पिू ी न ीं ोिी ैं।
तिषयिस्िु 3.0
(1) तिषय कें द्रीयिा (अनािश्यक बािें न किके के िल तिषय-संबद्ध िणमन -तििेचन) [1]
(2) सभी अगं ों का स ी िम सुतनतिि किना [0.5]
(3) िमबद्धिा (तिचािों को िमबद्ध एि ं िकम सगं ि तितध से प्रकट किना) [1]
(4) शब्द-सीमा का पालन [0.5]
ि मापदडं के तलए पिू े अकं दें यतद दी गई अपेक्षाएँ पिू ी ोिी ैं।
ि मापदडं के तलए आधे अकं दें यतद दी गई अपेक्षाओ ं में सुधाि की आिश्यकिा ै।
ि मापदडं के तलए शून्य अकं दें यतद दी गई अपेक्षाएँ तबलकुल पिू ी न ीं ोिी ैं।
पिू े अकं दें यतद व्याकिण औि ििमनी को तमलाकि के िल 1-2 त्रुतटयाँ ैं।
आधे अकं दें यतद व्याकिण औि ििमनी को तमलाकि 3-5 त्रुतटयाँ ैं।
शून्य अकं दें यतद व्याकिण औि ििमनी को तमलाकि 5 से अतधक त्रुतटयाँ ैं।
ि मापदडं के तलए पिू े अकं दें यतद दी गई अपेक्षाएँ पिू ी ोिी ैं।
ि मापदडं के तलए आधे अकं दें यतद दी गई अपेक्षाओ ं में सुधाि की आिश्यकिा ै।
ि मापदडं के तलए शून्य अकं दें यतद दी गई अपेक्षाएँ तबलकुल पिू ी न ीं ोिी ैं।
तिषयिस्िु 3.0
(1) तिषय कें द्रीयिा (अनािश्यक बािें न किके के िल तिषय-संबद्ध िणमन -तििेचन) [0.5]
(2) तिज्ञापन के आधाि पि तिज्ञातपि पद के तलए स्ियं को योग्य तसद्ध किने का सामर्थयम [0.5]
(3) ईमानदाि, स्पष्ट औि व्यितस्थि तिििण (व्यतक्तगि परिचय, पिा, संपकम सूत्र, टेलीफोन, मोबाइल, ई-मेल, शैक्षतणक
ि व्यािसाितयक योग्यिाओ ं का तिििण, अन्य संबतं धि योग्यिाओ,ं तिशेष उपलतब्धयों का तिििण, उद्घोषणा) [0.5]
(4) उम्मीदिाि पद औि संस्थान के प्रति गंभीििा औि अतभरुतच [0.5]
(5) तिचािों को औपचारिक शब्दों में प्रस्िुि किना [0.5]
(6) शब्द-सीमा का पालन [0.5]
ि मापदडं के तलए पिू े अकं दें यतद दी गई अपेक्षाएँ पिू ी ोिी ैं।
ि मापदडं के तलए आधे अकं दें यतद दी गई अपेक्षाओ ं में सुधाि की आिश्यकिा ै।
ि मापदडं के तलए शून्य अकं दें यतद दी गई अपेक्षाएँ तबलकुल पिू ी न ीं ोिी ैं।
ि मापदडं के तलए शून्य अकं दें यतद दी गई अपेक्षाएँ तबलकुल पिू ी न ीं ोिी ैं।
पिू े अकं दें यतद व्याकिण औि ििमनी को तमलाकि के िल 1-2 त्रुतटयाँ ैं।
आधे अकं दें यतद व्याकिण औि ििमनी को तमलाकि 3-5 त्रुतटयाँ ैं।
शून्य अकं दें यतद व्याकिण औि ििमनी को तमलाकि 5 से अतधक त्रुतटयाँ ैं।
ि मापदडं के तलए पिू े अकं दें यतद दी गई अपेक्षाएँ पिू ी ोिी ैं।
ि मापदडं के तलए आधे अकं दें यतद दी गई अपेक्षाओ ं में सुधाि की आिश्यकिा ै।
ि मापदडं के तलए शून्य अकं दें यतद दी गई अपेक्षाएँ तबलकुल पिू ी न ीं ोिी ैं।
2.0
तिषयिस्िु
(1) तिषय कें द्रीयिा (अनािश्यक बािें न किके के िल तिषय-सम्बद्ध िणमन -तििेचन) [0.5]
(2) सभी अगं ों का स ी िम सुतनतिि किना [0.25]
(3) भूतमका िथा समापन का ोना [0.25]
(4) िमबद्धिा (तिचािों को िमबद्ध एि ं िकम संगि तितध से प्रकट किना) [0.5]
(5) तिचािों को औपचारिक शब्दों में प्रस्ििु किना [0.25]
(6) शब्द-सीमा का पालन [0.25]
ि मापदडं के तलए पिू े अकं दें यतद दी गई अपेक्षाएँ पिू ी ोिी ैं।
ि मापदडं के तलए आधे अकं दें यतद दी गई अपेक्षाओ ं में सुधाि की आिश्यकिा ै।
ि मापदडं के तलए शून्य अकं दें यतद दी गई अपेक्षाएँ तबलकुल पिू ी न ीं ोिी ैं। 1.0
भाषाई शुद्धिा
(1) व्याकिण (व्याकिण सम्मि भाषा िथा तििाम तचह्नों का उतचि प्रयोग) [0.5]
(2) ििमनी (शब्दों की शुद्ध ििमनी का प्रयोग) [0.5]
पिू े अकं दें यतद व्याकिण औि ििमनी को तमलाकि के िल 1-2 त्रुतटयाँ ैं।
आधे अकं दें यतद व्याकिण औि ििमनी को तमलाकि 3-5 त्रुतटयाँ ैं।
शून्य अकं दें यतद व्याकिण औि ििमनी को तमलाकि 5 से अतधक त्रुतटयाँ ैं।
ि मापदडं के तलए पिू े अकं दें यतद दी गई अपेक्षाएँ पिू ी ोिी ैं।
ि मापदडं के तलए आधे अकं दें यतद दी गई अपेक्षाओ ं में सुधाि की आिश्यकिा ै।
ि मापदडं के तलए शून्य अकं दें यतद दी गई अपेक्षाएँ तबलकुल पिू ी न ीं ोिी ैं।
प्रस्िु त ि 1.5
(1) तिज्ञातपि िस्िु का नाम [0.25]
(2) तिज्ञातपि िस्िु के गुण [0.5]
(3) संपकम ेिु सूचना (फ़ोन नंबि आतद) [0.25]
(4) सृजनात्मकिा [0.5]
ि मापदडं के तलए पिू े अकं दें यतद दी गई अपेक्षाएँ पिू ी ोिी ैं।
ि मापदडं के तलए आधे अकं दें यतद दी गई अपेक्षाओ ं में सुधाि की आिश्यकिा ै।
ि मापदडं के तलए शून्य अकं दें यतद दी गई अपेक्षाएँ तबलकुल पिू ी न ीं ोिी ैं।
पिू े अकं दें यतद व्याकिण औि ििमनी को तमलाकि के िल 1-2 त्रुतटयाँ ैं।
आधे अकं दें यतद व्याकिण औि ििमनी को तमलाकि 3-5 त्रुतटयाँ ैं।
शून्य अकं दें यतद व्याकिण औि ििमनी को तमलाकि 5 से अतधक त्रुतटयाँ ैं।
प्रस्िुति 2.0
(1) संदशे को आकषमक ढंग से प्रस्िुि किना िथा सभी अगं ों का उतचि जग ोना [1]
• तितथ एि ं समय [0.25]
• संदशे लेखक का नाम ि पद [0.25]
• तिषय-संकेि [0.25]
• अतभिादन [0.25]
(2) सृजनात्मकिा एि ं मौतलकिा [0.5]
(3) तिषयानुकूल दो े, िुकािं पदों, श्लोक, िचनात्मक पतं क्तयों का प्रयोग [0.5]
ि मापदडं के तलए पिू े अकं दें यतद दी गई अपेक्षाएँ पिू ी ोिी ैं।
ि मापदडं के तलए आधे अकं दें यतद दी गई अपेक्षाओ ं में सुधाि की आिश्यकिा ै।
ि मापदडं के तलए शून्य अकं दें यतद दी गई अपेक्षाएँ तबलकुल पिू ी न ीं ोिी ैं।
ि मापदडं के तलए पिू े अकं दें यतद व्याकिण औि ििमनी को तमलाकि के िल 1-2 त्रुतटयाँ ैं।
ि मापदडं के तलए आधे अकं दें यतद व्याकिण औि ििमनी को तमलाकि 3-5 त्रुतटयाँ ैं।
ि मापदडं के तलए शून्य अकं दें यतद व्याकिण औि ििमनी को तमलाकि 5 से अतधक त्रुतटयाँ ैं।