आतंकवाद पर निबंध

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आतंकवाद पर निबंध

निबंध

न सं ापर्ू वक आम लोगों को सीधे डरािे के नलये आतंकर्ाद एक गैर-काििू ी कृ त्य ।ै आज के नदिों में र समय र्ास्तर् में लोग आतंकर्ाद और
आतंकर्ादी मलों से डरते र ते ।ैं ये सभी देशों के नलये एक ज्र्लंत मद्दु ा बि चक
ु ा ै क्योंनक ये एक सामानजक मद्दु ा ।ै य ााँ पर नर्द्यानथवयों के नलये
आतंकर्ाद के संदभव में आधारभतू समझ बिािे के नलये बे द सरल शब्दों में कुछ निबंध प्रस्तुत नकया जा र ा ै जो इन् ें नर्नभन्ि परीक्षाओ ं और निबंध
लेखि प्रनतयोनगताओ ं में उपयोगी सानबत ोगा।

आतंकवाद पर निबंध (टे रररज्म एस्से)


Essays on Terrorism in Hindi language for students in 100, 150, 200, 250, 300, and 400 words.

आतंकवाद पर निबंध 1 (100 शब्द)

आतंकर्ाद न सं ा का एक गैर-काििू ी तरीका ै जो लोगों को डरािे के नलये आतंकर्ानदयों द्वारा प्रयोग नकया जाता ।ै आज, आतंकर्ाद एक सामानजक
मद्दु ा बि चक
ु ा ।ै इसका इस्तेमाल आम लोगों और सरकार को डरािे-धमकािे के नलये ो र ा ।ै ब ुत आसािी से अपिे लक्ष्य को प्राप्त करिे के नलये
नर्नभन्ि सामानजक संगठि, राजिीनतज्ञ और व्यापाररक उद्योगों के द्वारा आतंकर्ाद का इस्तेमाल नकया जा र ा ।ै लोगों का समू जो आतंकर्ाद का
समथवि करते ैं उन् ें आतंकर्ादी क ते ।ैं आतंकर्ाद को पररभानित करिा ब ुत आसाि ि ीं ै क्योंनक इसिे अपिी जडें ब ुत ग राई तक जमायी ुयी
।ै आतंकर्ानदयों के पास कोई नियम और काििू ि ीं ;ै ये समाज और देश में आतंक के स्तर को बढािे और उत्पन्ि करिे के नलये के र्ल न सं ात्मक
गनतनर्नधयों का स ारा लेते ।ैं
आतंकवाद पर निबंध 2 (150 शब्द)

परू े नर्श्व के नलये आतंकर्ाद एक राष्ट्रीय और अतं रराष्ट्रीय समस्या बि चकु ा ।ै ये एक र्ैनश्वक समस्या ै नजसिे लगभग सभी राष्ट्रों को प्रत्यक्ष और
अप्रत्यक्ष रुप से प्रभानर्त नकया ुआ ।ै ालााँनक ब ुत सारे देशों के द्वारा आतंकर्ाद का सामिा करिे की कोनशश की जा र ी ;ै लेनकि कुछ लोगों के
द्वारा इसे आज भी समथवि नदया जा र ा ।ै आम लोगों को नकसी भी समय ख़ौफिाक तरीके से डरािे का एक न सं ात्मक कुकृ त्य ै आतंकर्ाद।
आतंकर्ानदयों के ब ुत सारे उद्देश्य ोते ैं जैसे नक समाज में न सं ा के डर को फै लािा, राजिीनतक उद्देश्यों की प्रानप्त आनद। इिके निशािे पर र र्क्त देश
का आम िागररक ोता ।ै

एक खास देशों की सरकार से अपिी मााँगों को परू ा करर्ािा ी आतंकर्ानदयों का मख्ु य लक्ष्य ोता ।ै लोगों और सरकार तक अपिी आर्ाज को
प चुाँ ािे के नलये र्ो ऑिलाइि सोशल मीनडया, समाचारपत्र या पनत्रकाओ ं से सपं कव करते ।ैं कई बार आतंकर्ादी मले अपिे र्ैचाररक और धानमवक
लक्ष्यों को परू ा करिे के नलये ोते ।ै

आतंकवाद पर निबंध 3 (200 शब्द)

भारत एक नर्कनसत देश ै नजसिे पर्ू व और र्तवमाि में ब ुत सारी चिु ़ौनतयों का सामिा नकया ,ै आतंकर्ाद उिमें से एक बडी राष्ट्रीय समस्या ।ै भारत
िे भख
ू मरी से ोिे र्ाली मृत्य,ु अनशक्षा, गरीबी, असमािता, जिसख्ं या नर्स्फोट और आतंकर्ाद जैसी चिु ़ौनतयों का सामिा नकया ै नजसिे इसकी
नर्कास और र्ृनि को बुरी तर प्रभानर्त नकया ।ै आतंकर्ानदयों के धमव, मातृभनू म और दसू रे गैर-तानकव क भार्िाओ ं के उद्देश्यों के नलये आम लोगों
और सरकार से लड र ा आतंकर्ाद एक बडा खतरा ।ै आतंकर्ादी अपिे आप को एक ब ादरु सैनिक बताते ैं ालााँनक, र्ो र्ास्तनर्क सैनिक ि ीं
ोते ।ैं सच्चे सैनिक कभी-भी आम लोगों को िक ु साि ि ीं प चुं ाते ैं और र्ो के र्ल दश्ु मिों से अपिे देश को बचािे के नलये ी लडते ।ैं र्ास्तर् में
असली सैनिक र्ो ोते ैं जो राष्ट्रन त के नलये लडते ।ैं जबनक आतंकर्ादी अपिे खदु के गलत उद्देश्यों के नलये लडते ।ैं

एक राष्ट्रीय सैनिक अपिी सभी नजम्मेदाररयों को समझता ै जबनक एक आतंकर्ादी कभी-भी ऐसा ि ीं करता। आतंकर्ानदयों को उिका िाम आतंक
शब्द से नमला ।ै पर्ू व में, आतंकर्ाद के र्ल कुछ क्षेत्रों तक ी सीनमत था जैसे जम्मू- कश्मीर ालााँनक; आज के नदिों में, ये लगभग सभी क्षेत्रों में फै ल
चक
ु ा ै खासत़ौर से भारत के उत्तरपर्ू ी इलाकों में। ाल ी में, भारत में आतंकर्ादी मला मम्ु बई में िरीमि उस और ताज ोटल में ुआ था। उस
मले िे भारत में कई नजन्दनगयों को लील नलया था और ब ुत आनथवक ानि प चुाँ ायी थी।

आतंकवाद पर निबंध 4 (250 शब्द)

आतंकर्ाद एक बडा राष्ट्रीय मद्दु ा ै जो परू ी जीत के नलये मािर् नदमाग का इस्तेमाल कर र ा ।ै लोगों को कमजोर बिािे के नलये उन् ें डरा र ा ै
नजससे र्ो दबु ारा से राष्ट्र पर राज कर सकें । इसको अंतरराष्ट्रीय स्तर पर सल
ु झािे की जरुरत ।ै में इसे जड से खत्म करिे के बारे में सोचिा ोगा।
मािर् मनस्तष्ट्क से असाधारण आतंक को टािे के साथ ी इसके साम्राज्य को परू ी तर से िेस्तािाबूद करिे के नलये में एक मजबूत िीनत बिािी
चान ये। आतंकर्ाद अपिे सकारात्मक पररणामों को पािे के नलये न सांत्मक तरीका अपिाता ।ै

आतंकर्ाद एक न सं ात्मक कुकृ त्य ै नजसको अंजाम देिे र्ाले समू को आतंकर्ादी क ते ।ैं र्ो ब ुत साधारण लोग ोते ैं और दसू रों के द्वारा उिके
साथ घनटत ुये कुछ गलत घटिाओ ं और या कुछ प्राकृ नतक आपदाओ ं के कारण र्ो नकसी तर अपिे नदमाग पर से अपिा नियंत्रण खो देते ैं जो
उिकी इच्छाओ ं को सामान्य या स्र्ीकृ त तरीके से परू ा करिे के में अक्षम बिा देता ।ै धीरे -धीरे र्ो समाज के कुछ बुरे लोगों के प्रभार् में आ जाते ैं
ज ााँ उिकी सभी इच्छाओ ं को परू ा करिे का र्ादा नकया जाता ।ै र्ो सभी एक साथ नमलते ैं और एक आतंकर्ादी समू बिाते ैं जो नक अपिे ी
राष्ट्र, समाज और समदु ाय से लडता ।ै आतंकर्ाद, देश के सभी यर्ु ाओ ं के नर्कास और र्ृनि को प्रभानर्त करता ।ै

ये राष्ट्र को उनचत नर्कास से कई र्िव पीछे ढके ल देता ।ै आतंकर्ाद देश पर अंग्रेजों की तर राज कर र ा ,ै नजससे में नफर से आजाद ोिे की
जरुरत ।ै ालााँनक, ऐसा प्रतीत ोता ै नक आतंकर्ाद मेशा अपिे जड को ग राई से फै लाता र गे ा क्योंनक अपिे अिैनतक उद्देश्यों की प्रानप्त के नलये
राष्ट्र के कुछ अमीर लोग अभी-भी इसको समथवि दे र ें ।ैं

आतंकवाद पर निबंध 5 (300 शब्द)

भारत ढेर सारी चिु ़ौनतयों का सामिा कर र ा ै जैसे गरीबी, जिसंख्या र्ृनि, निरक्षरता, असमािता आनद ब ुत कुछ, नफर भी आतंकर्ाद इि सबसे
ज्यादा खतरिाक ै जो परू ी मािर् जानत को प्रभानर्त कर र ा ।ै ये ब ुत ी डरार्िी बीमारी ै जो लोगों को मािनसक और ब़ौनिक स्तर पर प्रभानर्त
कर र ी ।ै चा े ये छोटे देशों में ोता ो (आयरलैंड, इज़रायल आनद) या बडे देशों (यएू सए, रुस आनद) में; ये दोिों ी जग चिु ़ौती के रुप में ।ै
अपिे कुछ राजिीनतक, धानमवक या व्यनक्तगत लक्ष्य की प्रानप्त के नलये आतंकर्ादी अथावत् परे शाि लोगों के समू के द्वारा न सं ात्मक तरीकों का प्रयोग
आतंकर्ाद ।ै आज ये नदिों-नदि बढता ी जा र ा ।ै

आतंकर्ाद का कोई नियम काििू ि ीं ोता र्ो के र्ल अपिी मााँगों को परू ा करिे के नलये सरकार के ऊपर दबार् बिािे के साथ ी आतंक को र
जग फै लािे के नलये निदोि लोगों के समू या समाज पर मला करते ।ैं उिकी मााँगे बे द खास ोती ो, जो र्ो चा ते ैं के र्ल उसी को परू ा कराते
।ैं ये मािर् जानत के नलये एक बडा खतरा ।ै र्ो कभी-भी अपिे दोस्त, पररर्ार, बच्चे, मन ला या बूढे लोगों के नलये समझ़ौता ि ीं करते ।ैं र्ो
के र्ल लोगों की भीड पर बम नगरािा चा ते ।ैं र्ो लोगों पर गोनलयााँ चलाते ,ैं नर्मािों का अप रण करते ैं और दसू री आतंकी गनतनर्नधयों को
अंजाम देते ।ैं

कम से कम समय में अपिे मख्ु य क्षेत्रों या देशों में आतंक फै लािे के नलये आतंकर्ादी लक्ष्य बिाते ।ैं पर्ू व में, ऐसा मािा जाता ै नक आतंकर्ादी
गनतनर्नधयााँ के र्ल जम्मू और कश्मीर तक ी सीनमत थी लेनकि अब ये अपिी जडें देश के दसू रे क्षेत्रों में भी फै ला र ा ।ै देश में अलग-अलग िामों के
साथ कई सारे आतंकर्ादी समू सनिय ।ैं अपिे कायव के अिसु ार राजिीनतक और आपरानधक आतंकर्ाद के दो मख्ु य प्रकार ।ैं कुछ खास लक्ष्यों को
परू ा करिे के नलये प्रनशनक्षत लोगों का समू ै आतंकर्ाद। नर्नभन्ि उद्देश्यों को परू ा करिे के नलये एक से ज्यादा आतंकी समू प्रनशनक्षत नकये जाते ।ैं
ये एक बीमारी की तर ै जो नियनमत त़ौर पर फै ल र ी ै और अब इसके नलये कुछ असरदार उपचार की जरुरत ।ै

आतंकवाद पर निबंध 6 (400 शब्द)

आतंकर्ादी क े जािे र्ाले प्रनशनक्षत लोगों के समू के द्वारा अन्यायपणू व और न सं ात्मक गनतनर्नधयों को अंजाम देिे की प्रनिया को आतंकर्ाद क ते
।ैं र् ााँ के र्ल एक मानलक ोता ै जो समू को नकसी भी खास कायव को नकसी भी तरीके से करिे का सख्त आदेश देता ।ै अपिे अन्यायी नर्चारों
की पनू तव के नलये उन् ें पैसा, ताकत और प्रचार की जरुरत ोती ।ै ऐसी पररनस्थनत में, ये मीनडया ोती ै जो नकसी भी राष्ट्र के समाज में आतंकर्ाद के
बारे में खबर फै लािे में र्ास्तर् में मदद करती ।ै अपिी योजिा, नर्चार और लक्ष्य के बारे में लोगों तक प चुाँ बिािे के नलये आतंकर्ाद भी मीनडया
का स ारा लेता ।ै

अपिे उद्देश्य और लक्ष्य के अिसु ार नर्नभन्ि आतंकी समू का िाम पडता ।ै आतंकर्ाद की निया मािर् जानत को बडे पैमािे पर प्रभानर्त करती ै
और लोगों को इतिा डरा देती ै नक लोग अपिे घरों से बा र निकलिे में डरते ।ैं र्ो सोचते ैं नक आतंक र जग ै जैसे घर के बा र रे लर्े स्टेशि,
मंनदर, सामानजक कायविमों, राष्ट्रीय कायविमों आनद में जािे से घबराते ।ैं लोगों के नदमाग पर राज करिे के साथ ी अपिे कुकृ त्यों कों प्रचाररत और
प्रसाररत करिे के नलये अनधक जिसंख्या के खास क्षेत्रों के त त आतंकर्ादी अपिे आतंक को फै लािा चा ते ।ैं आतंकर्ाद के कुछ ानलया उदा रण
अमेररका का 9/11 और भारत का 26/11 मला ।ै इसिे इसं ािों के साथ ी बडे पैमािे पर देश की अथवव्यर्स्था को भी चोट प चुाँ ायी ।ै

राष्ट्र से आतंकर्ाद और आतंक के प्रभार् को खत्म करिे के नलये, सरकार के आदेश पर कडी सरु क्षा का प्रबंध नकया गया ।ै र्ो सभी जग जो नकसी
भी र्ज से भीड-भाड र्ाली जग ोती या बि जाती ै जैसे सामानजक कायविम, राष्ट्रीय कायविम जैसे गणतंत्र नदर्स, स्र्तंत्रता नदर्स, मंनदर आनद
को मजबूत सरु क्षा घेरे में रखा जाता ।ै सभी को सरु क्षा नियमों का पालि करता पडता ै और ऑटोमैनटक बॉडी स्कै िर मशीि से गुजरिा पडता ।ै इस
तर के उपकरणों का इस्तेमाल करिे के द्वारा सरु क्षा कनमवयों को आतंकर्ादी की म़ौजदू गी का पता लगािे में मदद नमलती ।ै इस तर की कडी सरु क्षा
प्रबंधि के बाद भी म लोग अभी-भी आतंकर्ाद का नखलाफ प्रभार्शाली रुप से ि ीं खडे ो पा र ें ।ैं

आतंकी समू को खत्म करिे के साथ ी आतंक के नखलाफ लडिे के नलये र साल मारा देश ढेर सारे पैसे खचव करता ।ै ालााँनक, ये अभी-भी एक
बीमारी की तर बढ र ी ै क्योंनक रोजािा िये आतंकर्ादी तैयार ो र ें ।ैं र्ो मारी तर ी ब ुत सामान्य लोग ैं लेनकि उन् ें अन्याय करिे के नलये
तैयार नकया जाता ै और अपिे एक समाज, पररर्ार और देश के नखलाफ लडिे के नलये दबार् बिाया जाता ।ै र्ो इस तर से प्रनशनक्षत ोते ैं नक
उन् ें अपिे जीर्ि से भी प्यार ि ीं ोता, र्ो लडते समय मेशा अपिा कुबावि ोिे के नलये तैयार र ते ।ैं एक भारतीय िागररक के रुप में, आतंकर्ाद
को रोकिे के नलये म सभी परू ी तर से नजम्मेदार ैं और ये तभी रुके गा जब म कुछ बुरे और परे शाि लोगों की लालच भरी बातों में कभी ि ीं
आयेंगे।

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