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सितारों िे आगे

सितारों िे आगे

कल्पना चावला के जीवन काल की जानकारी हे तु नीचे दिए गए सलक


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https://youtu.be/axs1QkkDnXs
प्रारिं सिक जीवन
िारत की बेटी कल्पना चावला करनाल, हररयाणा में एक दहिंि ू िारतीय
पररवार में पैिा हुई थीिं। उनका जन्म 17 माचच िन ् 1962 में एक
िारतीय पररवार में हुआ था। उिके पपता का नाम श्री बनारिी लाल
चावला और माता का ििंज्योतत था। वह अपने पररवार के चार िाई बहनों
में िबिे छोटी थी। घर में िब उिे प्यार िे मोंटू कहते थे । कल्पना की
प्रारिं सिक पढाई-सलखाई “टै गोर बाल तनकेतन” में हुई। कल्पना जब आठवीिं
कक्षा में पहुुँची तो उिने इिंजीतनयर बनने की इच्छा प्रकट की। उिकी माुँ
ने अपनी बेटी की िावनाओिं को िमझा और आगे बढने में मिि की।
पपता उिे चचककत्िक या सिक्षक्षका बनाना चाहते थे । ककिंतु कल्पना बचपन
िे ही अिंतररक्ष में घूमने की कल्पना करती थी। कल्पना का िवाचचिक
महत्वपूणच गुण था - उिकी लगन और जुझार प्रवतृ त। कल्पना न तो काम
करने मे आलिी थी और न अिफलता िे घबराने वाली थी। उिकी उडान
में दिलचस्पी जहाुँगीर रतनजी िािािाई टाटा िे प्रेररत थी जो एक अग्रणी
िारतीय पवमान चालक और उद्योगपतत थे ।
सिक्षा
कल्पना कल्पनाचावला कीसिकप्रारक्भिक
चावला ने प्रारिं सिक्षा टैगोर पक्ललक पढ़ाई-सलखाई ‘टै गोर
स्कूल करनाल िे प्राप्त की। आगे की सिक्षा
बाल वैकॉले तनक
मातनके तन’ म ें
असियाक्न्िकी हमेंु ईपिंज|ाब दृढ़
ज, चिंडीगढ़, िारत िे करते हुए 1982 में
ििं
इिंक्जतनयररिं क
ग ल्प वाली कल्पना

अन्यििंयलडककयों
असियािं त्रिकी स्नातक की की उपाचि तरह
ुलत राज्य अमे ररका के सलए 1982 में चली गईं
स्नातक
प्राप्त की। वे के बाि वैवादहक
ििंस्कार तनष्णाततथा की उपाचिअच्छी
और 1984 वैमातनक असियाक्न्िकी में पवज्ञान
नौकरी के पवषय में न
टे लिाि पवश्वपवद्यालय
आसलिंगटन िे प्राप्त की। कल्पना जी ने 1986 में
िोचकर िि क
ू री पवज्ञान ु छ अलग
तनष्णात िोचती
की उपाचि
में कोलोराडो पवश्वपवद्यालय बोल्डर िे वैमातनक
पाई और थी | इिंजीतनयररिंग के
1988

कठोरअसियिं एविं व्यस्त


त्रिकी में पवद्या
कल्पना जी को हवाईजहाजों, ग्लाइडरों व
वाचस्पततिमय की उपाचि पाई। के बावजि
ू वह
महापवद्यालय की िािंकास्िजाच
व्याविातयक पवमानचालन के लाइिें िों के सलए
प्रमाणणत उडान प्रसिक्षक कृततक हासिल था। गततपवचियों,
उन्हें खेलकूि
एकल व बहु इिंजन वायुयानों के सलए व्याविातयक
आदिपवमानचालक म ें प र
ू ा िहयोग
के लाइिें ि िी प्राप्त
यािी बनने िे पहले वो एक िुप्रसिद्ि नािा कक
िे त थे।ी अन्तररक्ष
थी |उच्च सिक्षा की
प्राक्प्तवैज्ञातनक
के सलए थी। कल्पना ने 27 नवभबर 2002 को
टे लिाि पवश्वपवद्यालय में प्रवेि सलया |
मल
ू ्यांकन प्रश्न
➢ कल्पना चावला के बचपन का लया नाम था ?
➢ मोंटू
➢ कल्पना चावला बचपन िे लया िपना िेखती थी ?
➢ सितारों की िैर का |
➢ कल्पना चावला का जन्म कहाुँ हुआ ?
➢ 1961 में हररयाणा के करनाल िहर में |
➢ कल्पना चावला की िावनाओिं को िमझने और उन्हें आगे बढ़ने में
ककिने मिि की ?
➢ उिकी माुँ ने |
➢ कल्पना का िवाचचिक महत्वपूण च गुण कौन–िा था ?
➢ जुझारू प्रवतृ त और लगन
कल्पना चावला और जीन पपयरे है ररिन

अमे ररका पहुुँचने पर कल्पना की पहली िें ट एक लिं बे


कि के एक व्यक्लत ‘जीन पपयरे है ररिन’ िे हुई |
कल्पना ने है ररिन के तनवाि के तनकट ही एक
अपाटच मेंट में अपना आवाि बनाया | इििे पविे िी
पररवेि में ढलने में कल्पना को कोई कदठनाई नहीिं हुई
| जीन पपयरे िे कल्पना की िें ट िीरे -िीरे समिता में
बिल गई | पवश्वपवद्यालय पररिर में ही ‘फ़्लाइिं ग
ललब’ होने िे कल्पना वहाुँ प्राय: जाने लगी थी |
फ़्लाइिं ग का छाि होने के िाथ-िाथ जीन पपयरे है ररिन
अच्छा गोताखोर िी था | िमय बीतने के िाथ-िाथ
जीन पपयरे और कल्पना के बीच ििं बिंि प्रगाढ़ होते गए
| एक िाल बाि 1983 में एक िामान्य िमारोह में
िोनों पववाह िूि में बिंि गए | िारतीय एविं
मध्यमवगीय पररवार िे होने पर िी एक पविे िी
व्यक्लत िे पववाह करना कल्पना का एक िाहसिक
किम था |
कल्पना चावला की अिंतररक्ष यािा
6 माचच 1995 को कल्पना ने एक वषीय प्रसिक्षण ककया था | वह िि चालकों के िल में
िक्भमसलत होने वाले नौ असियान पविेषज्ञों में िे एक थी | कल्पना नािा में िामान्यत:
के०िी० के नाम िे पवख्यात हो गई थी |
पहली अन्तररक्ष यािा – पहली बार अन्तररक्ष यािा का स्वप्न 19 नवभबर 1997 को
िारतीय िमय के अनुिार लगिग 2 बजे एि.टी.एि.-87 अन्तररक्ष यान के द्वारा पूरा हुआ
| इि उडान के चालक िल में कुछ पुराने अनुिवी एविं कुछ पहली बार िक्भमसलत यािी थे |
इि यािा में कल्पना असियान पविेषज्ञ के तौर पर िासमल हुई थी | कल्पना के सलए यह
अनि ु व स्वयिं में पवनम्रता व जागरूकता सलए हुए था कक ककि प्रकार पथ्ृ वी के नैिचगचक
िौन्ियच एविं उिमे उपललि िरोहरों को िुँजोए रखा जा िकता है |
िि ू री अन्तररक्ष यािा- नािा ने पन ु : कल्पना को अन्तररक्ष यािा के सलए चुना | जनवरी
1998 में उिे िटल यान के चालक िल का प्रतततनचि घोपषत ककया गया और िटल िैिन
फ्लाइट क्रू के िाज-िामान का उत्तरिातयत्व दिया गया | बाि में वह चालक िल प्रणाली तथा
आवािीय पविाग की प्रमख ु तनयल
ु त की गई | 2000 में उिे एि.टी.एि.-107 के चालक िल
में िक्भमसलत ककया गया | अिंतररक्ष यान का नाम ‘कोलिंत्रबया’ रखा गया त्तथा प्रक्षेपण की
ततचथ 16 जनवरी 2003 तनक्श्चत की गई |
कल्पना चावला की अिंततम यािा
एि.टी,एि.-107 असियान वैज्ञातनक खोज पर केंदित था
| प्रततदिन िोलह घिंटे िे अचिक कायच करने पर अन्तररक्ष
यािी पथ्ृ वी ििंबिंिी वैज्ञातनक अन्तररक्ष – पवज्ञान तथा
जीव-पवज्ञान पर प्रयोग करते रहे | ििी तरह के
अनि ु न्िान तथा पवचार-पवमिच के उपरान्त वापिी के
िमय पथ्ृ वी के वायम ु िंडल में अन्तररक्ष यान के प्रवेि के
िमय क्जि तरह की ियिंकर घटना घटी वह अब इततहाि
की बात हो गई | नािा तथा ििंपूण च पवश्व के सलए यह
एक ििचनाक घटना थी | कोलिंत्रबया अन्तररक्ष यान पथ्ृ वी
में प्रवेि करते ही टूटकर त्रबखर गया और कल्पना िदहत
उिके छह िाचथयों की िि ु ाचग्यपूण च मत्ृ यु िे चारों और
िन्नाटा छा गया | इन िात अिंतररक्ष यात्रियों की आत्मा,
जो 1 फरवरी 2003 की मनहूि िब ु ह को िन् ू य में
पवलीन हुई, ििै व ििंिार में पवद्यमान रहे गी | करनाल िे
अिंतररक्ष तक की कल्पना की यािा ििा हमारे िाथ रहे गी
कल्पना चावला के िाचथयों के नाम

कमािंडर पायलट
ररक डी० पवसलयम
हुिबिंि ि. मैकुल

कमािंडर इलाम
माइकल रामों
प.
एिंडरिन

डेपवड म. लौरे ल
ब्राउन बी.ललाकच
मल
ू ्यांकन प्रश्न
➢ कल्पना चावला का िाहसिक किम लया था ?
➢ जीन पपयरे है ररिन िे पववाह करना |
➢ कल्पना चावला नािा में ककि नाम िे पवख्यात हुई ?
➢ के०िी० |
➢ कल्पना चावला का पहली यािा का स्वप्न कब परू ा हुआ ?
➢ 19 नविंबर 1997 |
➢ कल्पना चावला के ईरानी िहपाठी का नाम बताइए ?
➢ इराज कलखोरण |
➢ कल्पना चावला की मत्ृ यु कब हुई ?
➢ 1 फरवरी 2003
पवनम्र व
सिष्टाचारी
िहयोग व
िमहू पररश्रमी व
िावना िे तनडर
पररपण ू च

सलिंगिेि िे
ऊपर उठकर जझ
ु ारू एविं
कायच करने लगनिील
वाली

दृढ़
स्वावलिं बी
तनश्चयी

कल्पना चावला का चररि चचिण उत्तर पुक्स्तका में करना है | ललस्टर वेब बनाकर इन पविेषणों के आिार पर उिाहरण िे ते
हुए अनुच्छे ि िी सलखना है |)
मरणोपरािंत:
❖ काुँग्रेिनल अिंतररक्ष पिक के िभमान
❖ नािा अिंतररक्ष उडान पिक
❖ नािा पवसिष्ट िेवा पिक
❖ प्रततरक्षा पवसिष्ट िेवा पिक
िन्यवाि

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