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BEINGUMMATKHAN
BEINGUMMATKHAN
कक्षा – 12 अ
अनु क्रमांक – 42
हस्ताक्षर
आभारोवित्ता
मैं डॉ. लेखराम सैनी, प्राचार्य, कें द्रीय विद्यालय
क्रमांक १ अलवर (राज.) के प्रति आभार व्यक्त
करता हूँ जिनके मार्गदर्शन में यह परियोजना
कार्य सफलतापूर्वक संपन्न हो पाया ।
मैं श्री भूरा राम बैरवा, स्नातकोतर शिक्षक
(हिंदी) कें द्रीय विद्यालय क्रमांक १ अलवर
(राज.) के प्रति आभार व्यक्त करता हूँ जिन्होंने
विषय को समझने और उसे विस्तार देने में
कदम-कदम पर मेरे सहायता की ।
मैं हर उस व्यक्ति के प्रति आभार व्यक्त
करता हूँ जो प्रत्यक्ष / अप्रत्यक्ष रूप से इस
कार्य को सफल बनाने मैं सहायक रहा है ।
विद्यार्थी का घोषणा पत्र
मैं उम्मत खान , कक्षा बारहवीं, कें द्रीय विद्यालय,
एतद द्वारा यह घोषणा करता हूँ कि मेरे द्वारा श्री
भूरा राम बौरवा, मेरे हिंदी अध्यापक, के मार्गदर्शन में
हरिवंशराय बच्चन और हालावाद पर भेजा गया
परियोजना कार्य, मेरा मौलिक कार्य है।
हस्ताक्षर
अनुक्रमांक – 12142
दिनांक -05/02/2024
निर्देशक/ शिक्षक
परीक्षक
(प्राचार्य)
परियोजना कार्यकम
१) मुख पृष्ठ
३) प्रमाणपत्र
४) आभारोक्ति
५) विषय परिचय
६) उद्देश्य
७) सीमांकन
८) विषय विस्तार
९) संदर्भ सूची
अतीत में दबे पाव: एक आध्यात्मिक यात्रा
प्रस्तावना:
"अतीत में दबे पाव" एक ऐसा विषय है जो हमें हमारे जीवन की
पुरानी यादों और घटनाओं की गहराइयों में से गुजरने का साहस
देता है। इसमें हम अपने अतीत की कुं जीयों को खोजते हैं,
जिनसे हम अपने वर्तमान को समझ पा रहे हैं और अपने
भविष्य की दिशा में आगे बढ़ सकते हैं।
1. अतीत का महत्व:
अतीत हमारे जीवन का महत्वपूर्ण हिस्सा है।