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JAGANNATH PURI TOUR - 2022

श्री जगन्नाथ मन्दिर की जानकारी

पुरी का श्री जगन्नाथ मन्दिर एक हिन्दू मन्दिर है, जो भगवान जगन्नाथ (श्रीकृ ष्ण)


को समर्पित है। यह भारत के  ओडिशा राज्य के तटवर्ती शहर पुरी में स्थित है। जगन्नाथ
शब्द का अर्थ जगत के स्वामी होता है। इनकी नगरी ही जगन्नाथपुरी या पुरी कहलाती
है। इस मन्दिर को हिन्दुओं के चार धाम में से एक गिना जाता है। यह वैष्णव सम्प्रदाय का
मन्दिर है, जो भगवान विष्णु के अवतार श्री कृ ष्ण को समर्पित है। इस मन्दिर का वार्षिक 
रथ यात्रा उत्सव प्रसिद्ध है। इसमें मन्दिर के तीनों मुख्य देवता, भगवान जगन्नाथ, उनके
बड़े भ्राता बलभद्र और भगिनी सुभद्रा तीनों, तीन अलग-अलग भव्य और सुसज्जित रथों
में विराजमान होकर नगर की यात्रा को निकलते हैं। 
श्री जगन्नाथ पुरी हेतु आवागमन की जानकारी

र्ट्रेन संख्‍या 20917 इंदौर – पुरी से दिनांक 08-11-2022 दिन मंगलवार को


शाम 06:40 को भोपाल से रवाना होकर दिनांक 09-11-2022 को शाम
07:00 जगन्‍नाथा पुरी पॅहुचंगे तथा रात्रि विश्राम होगा
श्री जगन्नाथ पुरी जाने हेतु र्ट्रेन कोच B4 का नक्‍शा
दिनांक 10-11-2022 का कार्यक्रम

प्रात: लगभग 10:00 श्री जगन्‍नाथ जी के दर्शन किये जायंगे तत्‍पश्‍चात 12:00
भोजन होगा, भोजन के बाद पुरी के स्‍थानीय मंदिरों आदि स्‍थानों का भम्रण होगा
शाम को पुरी के संमुद्र तटो का भम्रण होगा
दिनांक 11-11-2022 चिल्‍का झील भम्रण

चिलिका झील 70 किलोमीटर लम्बी तथा 30 किलोमीटर चौड़ी है। यह समुद्र का ही एक भाग है जो महानदी द्वारा लायी गई
मिट्टी के जमा हो जाने से समुद्र से अलग होकर एक छीछली झील के रूप में हो गया है। दिसम्बर से जून तक इस झील का जल खारा
रहता है किन्तु वर्षा ऋतु में इसका जल मीठा हो जाता है। इसकी औसत गहराई 3 मीटर है। इस झील के  पारिस्थितिक तंत्र में बेहद 
जैव विविधताएँ हैं। 
दिनांक 12-11-2022 कोणार्क मंदिर भम्रण

कोणार्क प्राचीन कला और मूर्तिकला का कें द्र है और ओडिशा का सबसे अच्छा गंतव्य भी है। भारत के सात अजूबों में से एक
कोणार्क सूर्य मंदिर की नक्काशी को देखने के लिए यहां साल भर पर्यटकों की भीड़ जमा रहती है। अद्भुत मंदिरों के अलावा, शहर में
समुद्र तट देखने के साथ-साथ यहां एक मनोरंजक पुरातात्विक संग्रहालय भी है। यह मंदिर यूनेस्को की विश्व धरोहर स्थलों की सूची
में भी शामिल है। कोणार्क सूर्य मंदिर के प्रमुख देवता भगवान सूर्यनारायण हैं। पुरातत्व संग्रहालय, सूर्य देव का मंदिर और रामचंडी,
चंद्रभागा बीच यहां के प्रमुख आकर्षण हैं।
दिनांक 12-11-2022 भुवनेश्‍वर भम्रण

भारतीय राज्य ओडिशा की राजधानी भुवनेश्वर, पूर्वी भारत में आर्थिक और धार्मिक महत्व का कें द्र है। कोणार्क और पुरी के
साथ, शहर स्वर्ण त्रिभुजा (स्वर्ण त्रिभुज) बनाता है, जो पूर्वी भारत के सबसे अधिक यात्रा स्थलों में से एक है। शहर के सबसे प्रसिद्ध
पर्यटक आकर्षणों में लिंगराज मंदिर, उदयगिरी गुफाएं, राजा रानी मंदिर, बीजू पटनायक पार्क और वैताल देउल मंदिर शामिल हैं। 

ओडिसा की राजधानी भुवनेश्वर के चिड़ियाघर को ही नंदन कानन नाम दिया गया है लेकिन आपको बता दूँ कि ये मात्र एक
चिड़ियाघर नहीं बल्कि एक विशाल वन्य जीव उद्यान है। सफे द बाघों के लिए मशहूर नंदन कानन अपने आप में पूरा का पूरा जंगल है।
ऐसा देखा जाता है कि चिड़ियाघर के लिए शहर के आसपास बनावटी जंगल बनाकर या फिर पिंजरों में जानवरों को रखने की
व्यवस्था होती है। लेकिन नंदन कानन ऐसा चिड़ियाघर है जो कि प्राकृ तिक जंगल में ही बनाए गए हैं। मेन सिटी से 15 कि.मी. दूर
घना वन जहाँ जीव अपने मौलिक आवास की तरह ही झूमते मिलेंगे।
भोपाल जाने हेतु आवागमन की जानकारी

र्ट्रेन संख्‍या 22910 पुरी- वलसाड से दिनांक 12-11-2022 शनिवार को रात


00:30 को पुरी से रवाना होकर दिनांक 13-11-2022 रविवार की रात 12:15
पर भोपाल पॅहुचंगे
भोपाल जाने हेतु र्ट्रेन कोच B4 का नक्‍शा
भोपाल जाने हेतु र्ट्रेन कोच B 1 का नक्‍शा

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