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कक्षा - बारहवीं

विषय - हिंदी

काव्य (सरोज स्मति


ृ पद 1,2)

प्र० 1 दिए गए काव्यांश की सप्रसंग व्याख्या लिखिए |

दे खा विवाह आमूल नवल

तुझ पर पड़ा शुभ कलश का जल

दे खती तू मुझे हसीं मंद ,

होठों में बिजली फँसी स्पंद

उर में भर झूली छवि सुन्दर

प्रिय की अशब्द श्रंग


ृ ार मुखर

प्र० 2 दिए गए काव्यांश का काव्य सौंदर्य स्पष्ट कीजिये |

(क) नत नयनो से आलोक उतर

काँपा अधरों पर थर थर थर |

दे खा मैंने, वह मूर्ति धीति

मेरे बसंत की प्रथम गीति |

(ख) रति रूप प्राप्त कर रही वहीँ

आकाश बदलकर बना महि|

हो गया ब्याह, आत्मीय स्वजन

कोई थे नहीं, न आमंत्रण भेजा |

प्र० 3 प्रश्नो के संक्षेप में उत्तर दीजिये |

(क) सरोज का विवाह नया और अदभुत क्यों था?

(ख) निराला जी ने बेटी की संद


ु रता का वर्णन कैसे किया है ?

(ग) आकाश बदलकर बना मही का आशय स्पष्ट कीजिये|

(घ) सरोज का विवाह अन्य विवाहों से भिन्न कैसे है ?

(ड़) सरोज की माँ का क्या नाम था? सरोज का बचपन कहाँ बीता?

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